इंडोनेशिया के माउंट रुआंग में मंगलवार को ज्वालामुखी फटने से हजारों लोग प्रभावित हुए। ज्वालामुखी विस्फोट के बाद डिजास्टर मैनेजमेंट ने सुनामी की चेतावनी जारी की। साथ ही अगले आदेश तक एयरपोर्ट बंद रखने के निर्देश दिए है। रुआंग के आसपास के क्षेत्र में रह रहे लगभग 12 हजार लोगों को सुरक्षित स्थान भेजा जा चुका है। साथ ही करीब 5 किलोमीटर की दूरी तक किसी को भी जाने की इजाजत नहीं है। विस्फोट के बाद चारों तरफ राख का गुबार छा गया। उसके बाद बिजली चमकी और भूकंप के झटके महसूस किए गए, जिससे लोगों के घर की खिड़कियों के शीशे टूट गए।
ज्वालामुखी फटने के कारण
इंडोनेशिया डिजास्टर मैनेजमेंट के अधिकारियों का कहना है कि माउंट रुआंग के पास हाल में ही भूकंप आए थे। जिसकी वजह से टेक्टोनिक प्लेट्स अस्थिर हो गईं, जो ज्वालामुखी फटने का कारण बनीं। अधिकारियों ने बताया कि लोगों का रेस्क्यू करने के लिए 20 बचावकर्मियों को तैनात किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक, इंडोनेशिया की वोल्कैनो एजेंसी ने खतरे को देखते हुए लेवल 4 की चेतावनी जारी की है। इसके साथ ही ज्वालामुखी के पास के छह किलोमीटर क्षेत्र को एक्सक्लूजिव जोन घोषित किया गया है।
इंडोनेशिया में कितने सक्रिय ज्वालामुखी
आपको बता दें कि, इंडोनेशिया 'पैसिफिक रिंग ऑफ फायर' में फैला हुआ है, जो उच्च भूकंपीय गतिविधि का एक क्षेत्र है। यह क्षेत्र कई टेक्टोनिक प्लेटों के ऊपर स्थित है। इंडोनेशिया जियोलॉजिकल सर्विस से जुड़े अधिकारियों ने ज्वालामुखी फटने का संकेत मिलने के बाद सुलावेसी द्वीप पर चेतावनी जारी की थी। अधिकारियों ने आसपास के गांवों में रहने वाले लोगों और पर्वतारोहियों को ज्वालामुखी से कई किलोमीटर दूर शिफ्ट किया है। इससे पहले साल 2023 के दिसंबर महीने में मरापी ज्वालामुखी में विस्फोट हुआ था जिसमें 11 पर्वतारोहियों की मौत हो गई थी। इंडोनेशिया में 120 सक्रिय ज्वालामुखी हैं।