वैश्विक महामारी कोरोना वायरस का कहर एक बार फिर चीन में भारी पड़ता दिख रहा है। चीन की राजधानी बीजिंग के बाद अब चीन की आर्थिक राजधानी शंघाई में भी कोरोना वायरस अपना प्रकोप बरसा रहा है। महामारी से हालात एक बार फिर बेकाबू होते जा रहे है।
परीक्षाएं एक महीने के लिए स्थगित
ऐसे में कोविड के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रशासन ने शंघाई के कॉलेज और सीनियर हाई स्कूल के लिए प्रवेश परीक्षाओं को एक महीने के लिए स्थगित कर दिया है। बता दें कि चीन में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस के 345 नए केस सामने आए हैं। इन 345 मामलों में से 253 केस सिर्फ शंघाई से हैं।
यह रिपोर्ट चीन की नेशनल हेल्थ कमीशन ने दी है। चीनी न्यूज एजेंसी शिन्हुआ की रिपोर्ट के मुताबिक अब कॉलेज प्रवेश परीक्षा 7 से 9 जुलाई तक आयोजित किया जाएगा जिसमें 50 हजार से अधिक छात्र बैठेंगे। इसके साथ ही सीनियर हाई स्कूल के प्रवेश परीक्षा में 1।1 लाख छात्र बैठेंगे और इसके लिए 11-12 जुलाई को परीक्षा आयोजित की जाएगी।
शंघाई में चल रही ये विशेष तैयारी
वहीं, शंघाई के उप महापौर चेन कुन ने कहा है कि छात्रों के लिए विशेष कमरे तैयार किए जाएंगे। कोविड का टेस्ट अनिवार्य होगा ताकि छात्र परीक्षा में बैठ सकें। उन्होंने आगे बताया है कि 12 मार्च से शंघाई के सभी प्राइमरी और सेकेंडरी स्कूलों ने ऑनलाइन शिक्षण दे रही है और किंडरगार्टन और नर्सरी को अस्थायी तौर पर बंद कर दिया गया है।
चीन की इस नीति पर हो रहा विवाद
चीन की अर्थव्यवस्था कोरोना के खतरे के बावजूद चीन की विवादास्पद जीरो-कोविड पॉलिसी कोरोना वायरस को रोकने के लिए बनी हुई है। शी जिनपिंग सरकार ने जीरो-कोविड पॉलिसी को बदलने से साफ इनकार किया है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि तेजी से बढ़ते मामले फिर से बड़े पैमाने पर लॉकडाउन को मजबूर कर रहे हैं। चीनी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक चीन कोरोना के अपने सबसे खराब प्रकोप से गुजर रहा है, जिसका असर चीन के कई क्षेत्रों पर सीधे तौर पर दिख रहा है।