वॉशिंगटन : अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का कहना है कि समझौते से अमेरिका अलग होगा या नहीं, वह इस संबंध में मंगलवार(8 मई) को दोपहर दो बजे ऐलान करेंगे । ईरान परमाणु समझौता तेहरान और छह वैश्विक शक्तियों के बीच 2015 में हुआ था। ट्रंप ने ट्वीट कर कहा, ”मैं कल व्हाइट हाउस से दोपहर दो बजे ईरान परमाणु समझौते पर अपने फैसले का ऐलान करूंगा।”
जानकारी के मुताबिक ट्रंप विचार कर रहे हैं कि क्या ईरान के ऊर्जा और बैंकिंग क्षेत्र पर दोबारा प्रतिबंध लगाए जाए या नहीं। राष्ट्रपति पद संभालने के बाद बीते 15 महीनों में देश की राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर मंगलवार का यह फैसला सबसे अधिक महत्वपूर्ण माना जा रहा है। फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल और ब्रिटेन के विदेश मंत्री बोरिस जॉनसन हाल ही में ट्रंप पर दबाव बना चुके हैं कि अमेरिका को इस समझौते से जुड़े रहना चाहिए। ट्रंप ने कई मौकों पर कह चुके हैं कि यदि इस समझौते को संशोधित नहीं किया गया तो अमेरिका इस समझौते से अलग हो जाएगा।
येरुशलम के कार्यक्रम में ट्रंप नहीं करेंगे शिरकत
ईरान के साथ परमाणु समझौते से पहले अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय ने इस बात को स्पष्ट किया है कि ट्रंप 14 मई को येरुशलम में अमेरिका के नए दूतावास के उद्घाटन के मौके पर मौजूद नहीं होंगे लेकिन वह अपने स्थान पर बेटी इवांका ट्रंप और पति जेयर्ड कुश्नर को भेज रहे हैं। समाचार एजेंसी एफे ने व्हाइट हाउस की ओर से जारी बयान के हवाले से बताया कि उपविदेश मंत्री जॉन सुलिवन के नेतृत्व में अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल जेरूसलम जाएगा। अमेरिकी वित्त मंत्री स्टीव मनुचिन भी होंगे।
अमेरिका के राजदूत डेविड फ्रेडमैन भी होंगे मौजूद
इजरायल में अमेरिका के राजदूत डेविड फ्रेडमैन और ट्रंप के सहायक और अंतर्राष्ट्रीय मामलों के लिए विशेष प्रतिनिधि जैसन गरीनब्लॉट भी मौजूद रहेंगे. ट्रंप ने पिछले सप्ताह कहा था कि वह जेरूसलम में अमेरिकी दूतावास के उद्घाटन के मौके पर मौजूद रह सकते हैं लेकिन आखिरकर उन्होंने वहां नहीं जाने का फैसला किया। गौरतलब है कि ट्रंप ने पिछले साल दिसंबर में येरुशलम को इजरायल की राजधानी के तौर पर मान्यता दी थी और वादा किया था कि वह अमेरिकी दूतावास को तेल अवीव से हटाकर येरुशलम ले जाएंगे।
ईरान पर लगाए गंभीर आरोप!
नेतन्याहू ने कहा, ”मैं आपको एक बात बताने आया हूं. ईरान ने झूठ बोला है।” नेतन्याहू ने लाइव पावरप्वाइंट प्रेजेंटेशन पेश करते हुए कहा कि उनकी सरकार को हजारों की संख्या में दस्तावेज मिले हैं, जिनसे पता चला है कि ईरान समझौते के बाद भी परमाणु कार्यक्रमों में संलिप्त था। उन्होंने कहा, ”इन फाइलों में तमाम चीजें हैं, दस्तावेज, प्रेजेंटेशन, ब्लूप्रिंट, वीडियो और भी बहुत कुछ हैं जो ईरान के दोष को सिद्ध करते हैं।”
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