चंद्रयान-3 की सफलता के बाद भारत और चार देशों के लिस्ट में शामिल हो गया जिन्होंने चांद की सतह को छुआ था। जिसको देखकर पूरा विश्व आज भारत की तारीफ कर रहा है लेकिन अब चीन भी अपने अंतरिक्ष मिशन के लिए तैयार हो चुका है जहां चीन एजेंसी द्वारा यह कहा गया है कि अगले साल उनके प्रस्तावित मून मिशन को लांच किया जाएगा । जिसमें पाकिस्तान का भी एक पेलोड लेकर जाया जाएगा। इन दोनों के मित्रता के बारे में पूरा विश्व जानता है लेकिन यह कहना काफी मुश्किल था कि चीन अपने मूल मिशन में पाकिस्तान को भी शामिल करेगा या फिर चीन के सहारे पाकिस्तान भी अपनी मून यात्रा भरेगा!
चीन का पाकिस्तान के प्रति अंतरिक्ष क्षेत्र में भी सहयोग बढ़ने लगा है जहां चीन के नेशनल स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन के के द्वारा यह सूचना मिली है कि चांग ई-6 चंद्र अभियान अभी वर्तमान योजना के अनुसार विकास कार्य से गुजर रहा है और यह 2024 में ही लांच होने वाला है। मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो इस अभियान का मकसद है चंद्रमा के सुदूर हिस्से में नमूने लाना। मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो शुरू हिस्से में ऐटकेन बेसिन शामिल है जो तीन प्रमुख चंद्र भू-आकृतियों में से एक है आपको बता दे कि वैज्ञानिकों के नजरिए से भी काफी महत्वपूर्ण है। सीएनएस द्वारा यह भी कहा गया है की अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देने के मद्देनज़र रखते हुए चांग ई- 6 मिशन अलग-अलग देशों से पेलोड और उपग्रह परियोजनाओं को लेकर जाने वाला है जिसमें फ्रांस का ड्रोन डिटेक्शन मशीन यूरोप का अंतरिक्ष एजेंसी का आएं डिटेक्टर इटली का लेजर रेट्रो रिफ्लेक्टिव और पाकिस्तान का छोटा सा उपग्रह क्यूबसेट भी शामिल है। आपको बता दे कि क्यूबसेट पाकिस्तान का छोटा सा सेटेलाइट है जो इस साल की शुरुआत में पाकिस्तान ने पर्यावरण की दृष्टि से बीजों की सहनशीलता पर शोध करने के लिए चीनी स्पेस स्टेशन ध्यान गांव को भी बी भेजे थे । पाकिस्तान भारत के चंद्रयान मिशन कि सफलता देख अब खुद को भी अंतरिक्ष के रास्ते पर लाना चाहता है और उसको सहारा चीन दे रहा है।