रायपुर : छत्तीसगढ़ में सत्ताधारी दल भाजपा आगामी विधानसभा का चुनाव भी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के चेहरे को सामने रखकर लड़ेगी। पूर्व में संगठन ने तय किया था कि राज्य में चुनाव मुख्यमंत्री रमन सिंह के चेहरे को सामने रखते हुए लड़ा जाए। हालांकि इस पर भाजपा के शीर्ष नेताओं के विरोधाभासी बयानों के बाद अंदरूनी उठापटक भी हुई थी।
संगठन की चुनावी कवायदों के साथ तैयारियों की समीक्षा के लिए पहुंचे राष्ट्रीय संगठन महामंत्री रामलाल ने दो टूक कह दिया कि विधानसभा के चुनाव भी सीधे पीएम के चेहरे को सामने रख लड़े जाएंगे। हालांकि विपक्ष ने इस दो टूक के बाद से ही सत्ताधारी दल पर तंज कसने शुरू कर दिए हैं।
इधर सत्ताधारी दल ने कई राजयों में मिली सफलता को आधार मानते हुए यह तय कर दिया है। राज्य में विधानसभा के चुनाव भाजपा की ओर से रमन सिंह को सामने रखकर होते रहे हैं। इस बार परिस्थितियां बदल सकती है। वहीं फ्रंट पर मोदी होंगे। इस रणनीतिक कवायदों और बयान के भी कई राजनीतिक मायने तलाशे जा रहे हैं।
राजनीतिक प्रेक्षकों की मानें तो प्रदेश में लगातार तीन गबार सत्ता में रहने के बाद एंटी इंकमबेंसी फैक्टर से बचने के लिए इस तरह की कवायदें हो रही है। संगठन ने चुनावी फार्मूले को अमलीजामा पहनाने के साथ ही इस मामले में जिलों में तैयारियां शुरू की है। वहीं राष्ट्रीय स्तर पर संगठन के नेताओं ने प्रदेश में कार्यकर्ताओं की सुध लेनी शुरू की है।
हालांकि राज्य सरकार और संगठन के बीच तालमेल के बाद प्रदेश में विकास को ही मुख्य मुद्दा बनाने का भी निर्णय लिया गया है। इस मामले में केन्द्र एवं राज्य सरकार के कामकाज और उपलब्धियों के आधार पर ही संगइन चुनावी मैदान में उतरेगा। विकास के मुद्दे के साथमोदी केचेहरे पर लगने वाले दांव को लेकर चर्चाएं शुरू हो गई है। हालांकि चुनाव में इसका कितना असर होगा, इस पर अभी से कुछ कहना जल्दबाजी हो सकता है।
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