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Kuwait Fire News: कुवैत अग्निकांड में मारे गए 49 लोगों में से 42 भारतीय, घायलों से विदेश राज्य मंत्री ने की मुलाकात

Pannelal Gupta

Kuwait Fire News: खाड़ी देश कुवैत के दक्षिण शहर मंगफ में बुधवार को एक इमारत में आग लगने से 49 लोगों की मौत हो गई है, जिनमें कई भारतीय मजदूर भी हैं।

Highlights

  • Kuwait Fire News में मारे गए 49 लोग
  • मारे गए लोगों में से 42 भारतीय
  • विदेश राज्य मंत्री ने की घायलों से मुलाकात

कुवैत के दक्षिण शहर मंगफ में लगी आग

कुवैत में अहमदी प्रांत के मंगाफ क्षेत्र में भारतीय श्रमिकों के आवास वाली छह मंजिला इमारत में बुधवार को आग लगी। आग में मारे गये 49 लोगों में कम से कम 42 भारतीय हैं। कुवैत अग्निकांड(Kuwait Fire News) के बाद विदेश राज्य मंत्री केवी सिंह ने गुरुवार को उन अस्पतालों में से एक का दौरा किया, जहां घायल भारतीयों को उपचार के लिए भर्ती कराया गया है। वह कुवैत सिटी पहुंचने के बाद तुरंत जाबेर अस्पताल पहुंचे और वहां भर्ती घायल भारतीयों से मिले।

Kuwait Fire News में 42 भारतीयों की मौत

कुवैत अग्निकांड(Kuwait Fire News) में मृतक 42 भारतीयों में से 14 केरल के निवासी थे और बाकी तमिलनाडु तथा उत्तर प्रदेश जैसे अन्य राज्यों के थे। भारतीयों के अलावा मरने वाले बाकी लोग पाकिस्तानी, फिलिपींस, मिह्म और नेपाल के नागरिक थे। घायल हुए 50 से अधिक लोगों में से 35 लोग गहन देखभाल में हैं, जिनमें से सात की हालत गंभीर है। पांच लोगों को वेंटिलेटर सपोर्ट पर रखा गया है। घायलों का इलाज कुवैत के पांच सरकारी अस्पतालों, अदन, जाबेर, फरवानिया, मुबारक अल कबीर और जाहरा अस्पतालों में किया जा रहा है।

पीएम मोदी के निर्देश पर पहुचें राज्य मंत्री

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने एक्स पर पोस्ट किया, ''प्रधानमंत्री नरेन्द, मोदी जी के निर्देश पर, राज्य मंत्री के वी सिंह कुवैत पहुंचे हैं और आग की घटना में कल घायल हुए भारतीयों का हालचाल जानने के लिए तुरंत जाबेर अस्पताल पहुंचे। उन्होंने अस्पताल में भर्ती छह घायलों से मुलाकात की। वे सभी सुरक्षित हैं।'' कुवैती अधिकारियों ने कहा है कि पीड़तिं की पहचान के लिए डीएनए परीक्षण किया जायेगा। आग की घटना छह मंजिला इमारत में हुई, जहां एक निजी कंपनी के करीब 196 कर्मचारी रहते थे।

जहरीले धुएं से दम घुटने के कारण हुई अधिकांश मौत

शुरुआती जांच में बताया गया कि भूतल पर रसोई में आग लगी और तेजी से फैल गयी। रसाई में करीब 20 सिलिंडरों का भंडारण किया गया था जिसके कारण इतनी बड़ी संख्या में लोग हताहत हुए हैं। जांच रिपोर्ट में यह भी संकेत दिया गया है कि रात की शिफ्ट पूरी करने के बाद अधिकांश कर्मचारी पांचवीं और छठी मंजिल पर सो रहे थे। अधिकांश की मौत जहरीले धुएं से दम घुटने के कारण हुई।

(शीर्षक को छोड़कर, यह कहानी पंजाब केसरी स्टाफ द्वारा संपादित नहीं की गई है और एक सिंडिकेटेड फ़ीड से प्रकाशित हुई है )

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