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रेलवे ने मैन रन ओवर को रोकने के लिए उठाया बड़ा कदम, अब रियल टाइम मॉनिटरिंग सिस्टम होगा लागु

Desk News

रेलवे बोर्ड ने सभी जोन को बताया है कि वे पूर्वोत्तर रेलवे द्वारा विकसित रियल टाइम मॉनिटरिंग प्रणाली का अनुसरण करें। इससे अप्रिय घटनाओं की त्वरित रिपोर्टिंग और अच्छी ट्रैकिंग हो सकेगी और फर्जी मामलों को दर्ज करने से बचा जा सकेगा।

रेल मंडल अब ऑनलाइन गूगल शीट्स बना रहे हैं, जिससे मुख्यालय स्तर पर सभी अप्रिय घटनाओं का डेटा एकत्र किया जा सकेगा। उत्तर मध्य रेलवे (एनसीआर) ने अपने तीन मंडलों प्रयागराज, झांसी और आगरा को इस बारे में सूचित किया है। इस कदम को बोर्ड ने तब उठाया जब पता चला कि ट्रेनों से मैन रन ओवर और अन्य अप्रिय घटनाओं की सूचना में देरी हो रही है, जिसके कारण फर्जी मामले दर्ज किए जा रहे थे।

क्या होता है मैन रन ओवर-
मैन रन ओवर- कभी कभी ट्रेन के सामने कोई आदमी या औरत आत्महत्या कर लेते हैं। इसको एम आर ओ कहते हैं। इसमें डेड बॉडी को आरपीएफ और जीआरपी गैंग के साथ मिलकर हटाती है। इसकी वजह से भी ट्रेन लेट होती है।

एनसीआर ने अपने नोट में बताया है कि नई व्यवस्था के तहत, संबंधित स्टेशन मास्टर को जैसे ही सूचना मिलेगी, वे ट्रेन के लोको पायलट और ट्रेन मैनेजर का मेमो/बयान लेंगे। इसमें घटना के सभी विवरण शामिल होंगे जैसे कि मुख्यालय स्टेशन, मोबाइल नंबर आदि।

यह नई प्रणाली रेलवे यात्रियों के लिए अप्रिय घटनाओं की जांच का तरीका है जो रेलवे नियम 2020 के अनुसार काम करेगी। स्टेशन मास्टर विशिष्ट पहचान संख्या, घटना का किलोमीटर, लोको पायलट, ट्रेन मैनेजर, टीटीई, घटना की प्रकृति और अन्य विवरण को निर्धारित फॉर्म-1 और अप्रिय घटना रजिस्टर में दर्ज करेगा। बोर्ड के इस निर्णय के बाद, विभिन्न रेलवे जोन ने अपने डिवीजनों को वास्तविक समय में अप्रिय घटनाओं के विवरण दर्ज करने के लिए एक गूगल शीट तैयार करने को कहा है ताकि मुख्यालय इसकी निगरानी कर सके।