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मात्र 9 महिने में पास की 8 से 12वीं क्लास, 15 साल की उम्र में बन गए इंजीनियर, जानिए कौन है Nirbhay Thacker

Desk Team

हमारे सामने एक न एक कहानी रोज सामने आता है, जिसे जाननें के बाद आपको हैरानी होती होगी। हो सकता है आज जो कहानी हम आपको बतानें वालें उस पर भी आपको जल्दी से विश्वास न हो। आमतौर पर कोई भी छात्र 17 साल की उम्र में स्कूली शिक्षा और 20-23 साल की उम्र में स्नातक की पढ़ाई पूरी करता है, लेकिन निर्भय ठाकर ने इस बात को पूरी तरह काट दिया है। आइए क्या है पूरी कहानी खबर में जानतें है।

गुजरात, जामनगर के निर्भय ठाकर मात्र 17 की उम्र एक ऐसे चीज को कर दिया है, जो सबसे दिलचस्प है। साथ ही निर्भय ठाकर ने मात्र एक साल में पूरा बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग डिग्री कोर्स पूरा कर नाम कमाया था। बता दे कि कुछ साल पहले ही, निर्भय को स्कूल में शिक्षकों द्वारा "कमजोर छात्र" का टैग दिया गया था। शैक्षणिक वर्ष 2015-16 में निर्भय को कक्षा 8-10 उत्तीर्ण करने में केवल छह महीने लगे और फिर 11वीं, 12वीं कक्षा उत्तीर्ण करने में केवल 3 महीने लगे। 2002 में जन्मे निर्भय ने 13 साल की उम्र में एचएससी पूरी कर ली थी।

वह सिर्फ 15 साल की उम्र में गुजरात के सबसे कम उम्र के इंजीनियर बन गए। उन्हें 4 साल का डिग्री कोर्स पास करने में सिर्फ एक साल लगा। वह संयुक्त प्रवेश परीक्षा (मुख्य) में शामिल हुए थे और 75/360 नंबर हासिल किए थे। उन्होंने 2018 में 15 साल की उम्र में गुजरात टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी (जीटीयू) से इंजीनियरिंग की डिग्री प्राप्त की। निर्भय का इरादा डिग्रियां इकट्ठा करने का था और उन्होंने तीन साल के दौरान 10 इंजीनियरिंग डिग्री हासिल करने का लक्ष्य रखा, साथ ही "चार साल में इंजीनियरिंग की पांच शाखाएं इलेक्ट्रिकल, मैकेनिकल, कंप्यूटर, इंस्ट्रूमेंटेशन और ऑटोमेशन, और रसायन में करने का टारगेट रखा है।

निर्भय अनुसंधान और उत्पाद विकास पर काम करने के लिए फेमस भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी), गांधीनगर में शामिल हुए थे। वह रक्षा क्षेत्र में अगली पीढ़ी की तकनीक पर काम करना चाहते हैं। वह 10 इंजीनियरिंग डिग्रियों के अलावा पीएचडी भी करना चाहते हैं। उन्हें वर्ल्ड एजुकेशन कांग्रेस द्वारा यंग अचीवर अवार्ड मिल चुका है।

निर्भय कहते है उनकी इस सफलता के पिछे उनके इंजीनियर पिता धवल ठाकर और डॉक्टर माँ की महेनत है। साथ ही आपको बता दे कि निर्भय ने अपनी स्कूली शिक्षा इंटरनेशनल जनरल सर्टिफिकेट ऑफ सेकेंडरी एजुकेशन (आईजीसीएसई) के तहत की, जो तेजी से सीखने वालों को कम समय में स्कूली शिक्षा पूरी करने की छुट देता है।