बिहार के नवादा में 15 लोगों की संदिग्ध परिस्थिति में मौत के मामले में अब विपक्ष सरकार पर निशाना साध रही है। इस बीच, कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि नवादा में जहरीली शराब से हुई मौत की घटना पर लीपा-पोती कर चेहरा बचाने की कोशिश में सरकार जुटी हुई है।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व विधायक नरेंद्र कुमार और प्रदेश युवक कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ललन कुमार ने शनिवार को यहां कहा कि कितनी बड़ी हास्यास्पद स्थिति है कि बिहार सरकार राज्य में शराबबंदी का ढिंढोरा पीटती है और उसी राज्य में जहरीली शराब से लोगों की लगातार मौत हो रही है।
दोनों नेताओं ने आरोप लगाया कि गरीबों की मौत से बेपरवाह सरकार में बैठे नेता और शासन, प्रशासन के लोग पूरे बिहार में चल रहे काले कारोबार को संचालित कर धन उगाही में लगे हैं। उन्होंने कहा कि पूरे बिहार में शराबबंदी के बावजूद शराब बेची जा रही है।
पूर्व विधायक नरेंद्र कुमार ने कहा कि सरकार का चेहरा दागदार होने से बचाने के लिए स्थानीय प्रशासन का इस्तेमाल करके मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद के इशारे पर जहरीली शराब से हुई मौत को अन्य कारणों से हुई मौत बताने की कोशिश की जा रही है।
नेताओं ने कहा कि यह कितना दुर्भाग्यपूर्ण है की जहरीली शराब से हुई मौत को छिपाने के लिए बिना पोस्टमार्टम ही शवों का दाह संस्कार कराया गया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस मांग करती है कि जहरीली शराब से हुई मौत की जांच के लिए एक न्यायिक जांच कमिटि का गठन किया जाय और गलत बयानी करने वाले अधिकारी किस नेता के इशारे पर काम कर रहे हैं इसका पर्दाफाश किया जाए।