कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बुधवार को कहा कि वह ‘मोदी वोटिंग मशीन’ या मीडिया से नहीं डरते हैं तथा विचारधारा की लड़ाई में एक इंच भी पीछे नहीं हटेंगे और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को हरायेंगे। राहुल गांधी ने बिहार के मधेपुरा और अररिया में चुनावी रैली को संबोधित किया। उन्होंने आरोप लगाया कि नरेन्द्र मोदी उनके खिलाफ उल्टी सीधी बातें करते हैं और बदतमीजी से बात करते हैं, वे नफरत फैलाने वाली बातें करते हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘वे (मोदी) जितनी नफरत फैलाने की कोशिश करते हैं मैं उतना ही प्यार फैलाने की कोशिश करता हूं। नफरत को नफरत से नहीं बल्कि प्यार से काटा जा सकता है।’’ कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा, ‘‘मैं एक इंच भी पीछे नहीं हटूंगा, जब तक कि नरेन्द्र मोदी को हरा नहीं दूं।’’ उन्होंने कहा कि चाहे ‘मोदी वोटिंग मशीन’ हो या ‘मोदी मीडिया’ हो, जो भी हो, मुझे फर्क नहीं पड़ता।’’
गांधी ने कहा, ‘‘यह उस व्यक्ति के खिलाफ विचारधारा की लड़ाई है और उनकी सोच के खिलाफ लड़ाई है और सच, सच होता है और हम इस सोच को पराजित करेंगे।’’ उन्होंने अपने संबोधन में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर कोरोना वायरस संकट, बेरोजगारी, किसानों एवं छोटे व्यापारियों की समस्याओं की अनदेखी करने का आरोप लगागे हुए कहा कि पिछले वादे पूरा नहीं करने वाले ये नेता अब चुनाव में लोगों से वोट मांग रहे हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘ मैं आपको कहना चाहता हूं कि महागठबंधन की सरकार बनेगी तो वह हर जाति, धर्म, गरीब, मजदूर और हर जिले की सरकार होगी। हम मिलकर इस प्रदेश को बदलने का काम करेंगे।’’ मधेपुरा और अररिया में चुनावी रैलियों को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा, ‘‘ छह साल पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा था कि हर साल दो करोड़ युवाओं को रोजगार दिलवाएंगे…मिला? नीतीश कुमार ने कहा था बिहार को बदल दूंगा, लेकिन क्या बिहार बदला…?’’
राहुल गांधी ने कहा कि इस चुनाव में वही युवा उनसे पूछते हैं कि हमें रोजगार क्यों नहीं दिया तो नीतीश कुमार उन्हें धमकाते हैं। उन्होंने कहा कि सच्चाई सामने आती है और सामने आ गई है। कांग्रेस नेता ने कहा कि शरद यादव की बेटी सुभाषिनी यादव इस चुनाव में बिहारीगंज सीट से चुनाव मैदान में हैं और आप शरद यादव की बेटी को चुनाव जिताएंगे।
राहुल गांधी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना वायरस से लड़ने के लिए कहा कि ताली बजाओ, थाली बजाओ और ताली एवं थाली के बाद मोबाइल फोन की लाइट जलावायी और 22 दिनों में कोरोना खत्म होने की बात कही लेकिन इससे ज्यादा दिन बीत गए पर कोरोना वायरस फैलता जा रहा है।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने केंद्र और प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘लॉकडाउन के दौरान जब लाखों मजदूर पैदल ही अपने घर आ रहे थे, तब नीतीशजी और मोदीजी ने उनकी मदद नहीं की।’’ राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि जब कोरोना वायरस आया तो प्रधानमंत्री मोदी ने बिना कोई चेतावनी दिये, बिना लॉकडाउन का नोटिस दिये ही, इसे लागू कर दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि जैसे नोटबंदी लागू की, वैसे ही लॉकडाउन कर दिया और देशभर के मजदूरों को इस दौरान भूखे प्यासे पैदल यहां आना पड़ा।
कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘कोरोना वायरस के समय में मैंने मजदूरों से बात की तो उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने हमें दो दिन का नोटिस क्यों नहीं दिया। अगर हमें एक दिन का समय मिलता तो हम अपने गांव वापस लौट जाते।’’ उन्होंने आरोप लगाया कि हिंदुस्तान के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दिल में अगर किसान-मजदूरों के लिए जगह होती तो जो कोरोना वायरस के समय में हुआ, वो किसानों के साथ कभी नहीं होता।
नोटबंदी का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री 8 बजे शाम को कहते हैं, 500 रुपए 1000 रुपए का नोट रद्द, अपना सब पैसा बैंक में डालो। इसके बाद वे आपकी जेब से पैसा निकालकर हिन्दुस्तान के अमीरों की जेब में डालने का काम करते हैं।’’
राहुल गांधी ने कहा कि उस समय आप लाइन में खड़े थे, क्या कोई काला धन वाला लाइन में था? क्या कोई अरबपति लाइन में लगा था। उन्होंने कहा कि आपका 3 लाख 50 हजार करोड़ रुपए नरेन्द्र मोदी जी ने आपकी जेब से निकालकर उन बड़े उद्योगपतियों का कर्जा माफ किया।
उन्होंने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि अब नया कानून किसानों को खत्म करने वाला बनाया गया है। इसलिये इस दशहरे में पंजाब में किसानों ने रावण, मेघनाद, कुंभकर्ण के स्थान पर नरेन्द्र मोदी, अंबानी अडाणी का पुतला जलाया।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने रैली में मौजूद लोगों से पूछा कि क्या उन्हें मक्के का उचित दाम मिला रहा है? गांधी ने कहा कि सही दाम दिलवाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और नीतीश कुमार ने क्या किया? हाल में लागू तीन कृषि कानूनों का जिक्र करते हुए गांधी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी कहते हैं कि हमने किसान को आजाद किया कि वो अपना मक्का-धान देश में कहीं भी जाकर बेच सकते हैं। लेकिन किसान कैसे बेचेगा, बिहार में सड़क कहां है।