पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने तेजस्वी यादव को विपक्ष का नेता बताया है और साथ ही कहा है कि बिहार की सबसे बड़ी राजनीतिक पार्टी राजद है। शरद यादव का महागठबंधन को लेकर दिए गए इस बयान से महागठबंधन में एक नई बात देखने को मिल सकती है। इसके साथ ही शरद यादव ने ये भी कह दिया है कि विधानसभा चुनाव में हम कोई चेहरा नहीं हैं। इससे अब महागठबंधन की तरफ से तेजस्वी के सीएम पद की दावेदारी साफ दिखती नजर आ रही है।
शरद यादव ने तीसरे मोर्चे की संभावना से साफ इन्कार करते हुए कहा कि हमारा पूरा प्रयास है कि बिहार में विपक्ष एकजुट हो, तभी ये लड़ाई जीती जा सकती है। शरद ने कहा कि विपक्षी एकजुटता को लेकर लालू प्रसाद यादव से भी हमारी बात हुई है और जल्द ही इसका भी हल निकल जाएगा।
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बता दें कि रालोसपा प्रमुख और पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने पिछले दिनों महागठबंधन को ये प्रस्ताव दिया था कि दिग्गज समाजवादी नेता शरद यादव को इस साल के अंत में होने वाले बिहार विधानसभा चुनाव से पहले महागठबंधन के चेहरे के रूप में पेश किया जाना चाहिए और उसके बाद जीतन राम मांझी, उपेंद्र कुशवाहा, शरद यादव और मुकेश सहनी की पटना में गुप्त बैठक भी हुई थी।
इस बैठक के बाद बिहार में थर्ड फ्रंट की कवायद भी शुरू हो गई थी। इस बैठक से राजद और कांग्रेस दूर रहे थे। इस बैठक के बाद जीतन राम मांझी ने स्पष्ट तौर पर कहा था कि गठबंधन में अगर सब मिलकर चुनाव नहीं लड़े तो दिल्ली जैसी हालत हो जाएगी। साथ रहने का ही नतीजा है कि दिल्ली में बड़ी हार हुई, लेकिन झारखंड में सब ने एकजुटता दिखाई तो गठबंधन ने चुनाव जीता।