बीजिंग : दुनिया की सबसे बड़ी ई-वाणिज्य कंपनी अलीबाबा समूह के संस्थापक जैक मा ऐसे समय कंपनी के चेयरमैन पद से हट रहे हैं जब अमेरिका-चीन के बीच व्यापार युद्ध के चलते तेजी से बदलते उद्योग क्षेत्र में अनिश्चितता का दौर चल रहा है। जैक मा ने मंगलवार को अपना पद छोड़ दिया। उनका चेयरमैन पद से हटने का कार्यक्रम एक साल पहले तय कर लिया गया था। हालांकि, वह अलीबाबा पार्टनरशिप के सदस्य बने रहेंगे।
यह 36 लोगों का समूह है जिन्हें कंपनी के निदेशक मंडल में बहुमत सदस्यों को नामांकित करने का अधिकार है। जैक मा (55) ने 1999 में अलीबाबा की स्थापना की थी। उन्होंने चीन के निर्यातकों को सीधे अमेरिकी खुदरा विक्रेताओं से जोड़ने के लिये अलीबाबा ई-वाणिज्य कंपनी को खड़ा किया। इसके बाद कंपनी ने अपना कार्य क्षेत्र बदलते हुये चीन के बढ़ते उपभोक्ता बाजार में आपूर्ति बढ़ाने का काम शुरू किया। जून में समाप्त तिमाही के दौरान कंपनी के 16.7 अरब डालर के कुल कारोबार में उसके घरेलू व्यावसाय का हिस्सा 66 प्रतिशत रहा है।
दुनिया के 500 अमीरों में जैक मा 20वें नंबर पर : जैक मा ने पिछले साल कहा था- बिल गेट्स से बहुत कुछ सीखा। मैं कभी उनके जितना अमीर नहीं बन सकता लेकिन, उनसे पहले रिटायर तो हो सकता हूं। गेट्स 2014 में माइक्रोसॉफ्ट के चेयरमैन पद से रिटायर हुए थे। उस वक्त उनकी उम्र 58 साल थी। गेट्स दुनिया के दूसरे बड़े अमीर हैं। उनकी नेटवर्थ 107 अरब डॉलर (7.70 लाख करोड़ रुपए) है।
जैक मा 41.8 अरब डॉलर (3 लाख करोड़ रुपए) की नेटवर्थ के साथ दुनिया के अमीरों की लिस्ट में 20वें नंबर पर हैं। वे चीन के सबसे बड़े अमीर हैं। रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी पिछले साल जैक को पीछे छोड़ एशिया के सबसे बड़े अमीर बन गए थे। अंबानी 47.4 अरब डॉलर (3.41 लाख करोड़ रुपए) की नेटवर्थ के साथ दुनिया के 500 अमीरों की लिस्ट में 17वें नंबर पर हैं।