राजधानी दिल्ली में कोरोना वायरस (कोविड-19) के मरीजों में बड़ी तेजी से इजाफा हो रहा है। इसी बीच दिल्ली की केजरीवाल सरकार ने केंद्र सरकार पर भेदभाव करने का आरोप लगते हुए कोई सहायता राशि नहीं मिलने पर कड़ी नाराजगी जताई है। इसके साथ ही सरकार ने पत्र लिखकर कोरोना के संकट से निपटने के लिए केंद्र से आपदा कोष जारी करने की मांग की है।
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने एक पत्र में अपनी निराशा व्यक्त की है। पत्र में कहा गया है कि केंद्र इस संकट की घड़ी में दिल्ली की जरूरतों की अनदेखी कर रहा है। उन्होंने कहा कि पूरा देश कोरोना वायरस से पीड़ित है। दिल्ली सरकार और दिल्ली की जनता केंद्र सरकार के साथ सामूहिक रूप से इसके खिलाफ लड़ाई लड़ने के लिए काम कर रही है।
मैंने केंद्र सरकार को चिट्ठी लिखकर दिल्ली के लिए भी आपदा फंड की माँग की है. केंद्र ने राज्यों को कोरोना से लड़ने के लिए, आपदा फंड से 17 हज़ार करोड़ जारी किए लेकिन दिल्ली को इसमें एक रुपया भी नहीं दिया. इस समय पूरे देश को एक होकर लड़ना चाहिए. इस तरह का भेदभाव दुर्भाग्यपूर्ण है. pic.twitter.com/OEKMt783Ez
— Manish Sisodia (@msisodia) April 4, 2020
कल, केंद्र सरकार ने एक आपातकालीन आपदा प्रबंधन राहत प्रदान की। सभी राज्यों को 17,000 करोड़ रुपये की राशि दी गई और दिल्ली को इसमें से एक भी रूपया नहीं दिया गया। इससे हम काफी हतोत्साहित हुए हैं और काफी निराशा हुई है। हमें न तो संघीय ढांचे में और न तो इस समय जो आपदा हमारे सामने उत्पन्न हुई है, उसमें केंद्र से ऐसी स्थिति में राजनीति करने की उम्मीद नहीं है।
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने ट्वीट कर कहा, ‘‘मैंने केंद्र सरकार को चिट्ठी लिखकर दिल्ली के लिए भी आपदा फंड की मांग की है। केंद, ने राज्यों को कोरोना से लड़ने के लिए, आपदा फंड से 17 हजार करोड़ जारी किए लेकिन दिल्ली को इसमें एक रुपया भी नहीं दिया। इस समय पूरे देश को एक होकर लड़ना चाहिए। इस तरह का भेदभाव दुर्भाज्ञपूर्ण है।’’