केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने शुक्रवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के राष्ट्रीय राजधानी में घर घर राशन की डिलीवरी के प्रस्ताव पर हमला किया। बीजेपी नेता ने इसे “जुमला” (झूठा वादा) करार दिया और सत्तारूढ़ आप पर “राशन माफिया” से जुड़ने का आरोप लगाया।
उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल जी हर घर अन्न की बात कर रहे हैं। ऑक्सीजन पहुंचा नहीं सके, मोहल्ला क्लीनिक से दवा तो पहुंचा नहीं सके। हर घर अन्न भी एक जुमला है। दिल्ली सरकार राशन माफिया के नियंत्रण में है। बीजेपी नेता ने कहा कि भारत सरकार देश भर में 2 रुपये प्रति किलो गेहूं, 3 रुपये प्रति किलो चावल देती है। प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत पिछले साल की तरह इस बार भी नवंबर तक गरीबों को मुफ्त राशन दिया जा रहा है।
रविशंकर प्रसाद ने कहा कि चावल का खर्चा 37 रुपये प्रति किलो होता है और गेहूं का 27 रुपये प्रति किलो होता है। भारत सरकार सब्सिडी देकर प्रदेशों को राशन की दुकानों के माध्यम से बांटने के लिए अनाज देती है। भारत सरकार सालाना करीब 2 लाख करोड़ रुपये इसमें खर्च करती है। उन्होंने कहा कि वन नेशन, वन राशन कार्ड भारत सरकार द्वारा बहुत महत्वपूर्ण योजना शुरू की गई है। देश के 34 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में वन नेशन, वन राशन कार्ड योजना चल रही है। अभी तक इस पर 28 करोड़ पोर्टेबल ट्रांजेक्शन हुए हैं।
बीजेपी नेता ने कहा कि अरविंद केजरीवाल जी जवाब दें कि दिल्ली में वन नेशन-वन राशन कार्ड लागू क्यों नहीं हुआ? क्या परेशानी और क्या दिक्कत है आपको वन नेशन-वन राशन कार्ड योजना से? उन्होंने कहा कि दिल्ली की राशन की दुकानों में अप्रैल 2018 से अब तक पीओएस मशीन का ऑथेंटिकेशन शुरु क्यों नहीं हुआ? अरविंद केजरीवाल जी एससी-एसटी वर्ग की चिंता नहीं करते हैं, प्रवासी मजदूरों की चिंता भी नहीं करते हैं, गरीबों की पात्रता की भी चिंता नहीं करते हैं।