कोरोना वायरस के नए वेरिएंट मामलों के बीच दिल्ली के एलएनजीपी अस्पताल में नया विवाद खड़ा हो गया है। दरअसल डॉक्टरों ने नीट पीजी की काउंसलिंग को लेकर एलएनजीपी अस्पताल में प्रदर्शन किया। उनकी मांग है कि, जल्द ही मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन की प्रक्रिया को तेज किया जाए और नीट काउंसलिंग भी शुरु करवाई जाए। वैसे नीट का यह मामला इस समय सुप्रीम कोर्ट के फैसले के अधीन है। एलएनजीपी वही अस्पताल है जहां दिल्ली सरकार ने कोरोना वायरस के नए मामलों वाले मरीजों के लिए व्यवस्था की है।
डॉक्टरों ने की हड़ताल
नीट काउंसलिंग को शुरु करने की मांग को लेकर डॉक्टरों ने दिल्ली के एलएनजीपी अस्पताल में हड़ताल की और प्रदर्शन किया। हड़ताल के दौरान ओपीडी सेवा को भी बंद रखा गया। उनका कहना है कि, हमारी मांगे जल्द पूरी होनी चाहिए क्योंकि कोरोना की तीसरी लहर आने का खतरा है और इसके चलते हम डॉक्टरों को ज्यादा तनाव नहीं दे सकते। यदि डॉक्टरों की कमी होगी तो स्थिति काफी खराब हो सकती है। प्रदर्शन कर रहे डॉक्टरों ने कहा हमें स्वास्थ्य मंत्री से आश्वासन मिला था कि, तीन दिनों के अदंर कोई ठोस फैसला लिया जाएगा लेकिन सरकार ने कोई कदम नहीं उठाया।
यह है विवाद
केंद्र सरकार ने हाल ही में फैसला लिया था कि, नीट पीजी में 27% ओबीसी और 10% आरक्षण आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग को दिया जाएगा। सरकार के इस फैसले से कुछ मेडिकल छात्र खुश नहीं थे और उन्होंने इस फैसले के खिलाफ कोर्ट में चुनौती दी थी। छात्रों का कहना है कि, वार्षिक आठ लाख रुपए तक निम्न आय वर्ग वाले लोगाों के लिए यह फैसला मनमाना है। कोर्ट ने इस मुद्दे पर केंद्र सरकार से जवाब मांगा है।