SC ने यमुना की सफाई को लेकर NGT द्वारा गठित समिति से मांगी रिपोर्ट - Latest News In Hindi, Breaking News In Hindi, ताजा ख़बरें, Daily News In Hindi

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SC ने यमुना की सफाई को लेकर NGT द्वारा गठित समिति से मांगी रिपोर्ट

उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को यमुना नदी के जल की गुणवत्ता में सुधार के लिये राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) द्वारा गठित समिति से उसकी सिफारिशों और उन पर संबंधित प्राधिकारियों द्वारा किये गये अमल की रिपोर्ट मांगी।

उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को यमुना नदी के जल की गुणवत्ता में सुधार के लिये राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) द्वारा गठित समिति से उसकी सिफारिशों और उन पर संबंधित प्राधिकारियों द्वारा किये गये अमल की रिपोर्ट मांगी। अधिकरण ने यमुना की सफाई को लेकर 26 जुलाई, 2018 को एक निगरानी समिति गठित की थी और उससे इस संबंध में एक कार्य योजना पेश करने का निर्देश दिया था।
एनजीटी के पूर्व विशेषज्ञ सदस्य बी एस सजवान और दिल्ली की पूर्व मुख्य सचिव शैलजा चंद्रा इसकी सदस्य हैं। प्रधान न्यायाशीध एस ए बोबडे की अगुवाई वाली पीठ ने न्यायमित्र और वरिष्ठ वकील मीनाक्षी अरोड़ा के इस अभिवेदन का संज्ञान लिया कि एनजीटी द्वारा नियुक्त पैनल यमुना नदी की सफाई की निगरानी कर रहा है। न्यायमूर्ति एल नागेश्वर राव और न्यायमूर्ति विनीत सरन भी इस पीठ के सदस्य हैं।
वीडियो कांफ्रेंस के जरिए हुई सुनवाई के दौरान पीठ ने समिति से कहा कि वह यमुना नदी के जल की गुणवत्ता में सुधार के लिए की गई अपनी सिफारिशों और उन पर संबंधित प्राधिकारियों द्वारा किये गये अमल की रिपोर्ट जमा करे। इससे पहले, शीर्ष अदालत ने देश में नदियों के प्रदूषित होने का स्वत: संज्ञान लिया था और सबसे पहले यमुना नदी के प्रदूषण के मामले पर विचार करने का फैसला किया था।
न्यायालय ने विषाक्त कचरा प्रवाहित होने की वजह से नदियों के प्रदूषित होने का संज्ञान लेते हुये कहा था कि प्रदूषण मुक्त जल नागरिकों का मौलिक अधिकार है और शासन यह सुनिश्चित करने के लिये बाध्य है। न्यायालय ने केन्द्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को यमुना नदी के किनारे स्थित उन नगरपालिकाओं की पहचान कर उनके बारे में रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया है, जिन्होंने मल शोधन संयंत्र नहीं लगाये हैं।

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