नई दिल्ली : दिल्ली के सरकारी स्कूलों को परीक्षा परिणाम कार्य से राहत मिल सकती है। उप मुख्यमंत्री व शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने शिक्षा निदेशालय के अधिकारियों को निर्देश जारी करते हुए सभी सरकारी स्कूलों के शिक्षकों को कठिन परीक्षा परिणाम कार्य से राहत दी जाए। सिसोदिया ने कहा अब और नहीं, शिक्षकों के लिए ऑनलाइन छुट्टी और नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट(एनओसी) की सुविधा के बाद अब सरकार परीक्षा के आंकड़ों की रिकॉर्डिंग प्रक्रिया को डिजिटल करने जा रही है।
उप मुख्यमंत्री कार्यालय द्वारा साझा की गई जानकारी के मुताबिक दिल्ली सरकार के स्कूलों में प्रत्येक विषय के शिक्षक प्रति वर्ष लगभग 50 घंटे और कक्षा अध्यापक 310 घंटे परीक्षा से संबंधित कार्यों पर खर्च करते हैं, जिसका प्रभाव उनके शिक्षण पर पड़ता है और वह परिवार में भी समय नहीं दे पाते हैं। विषय शिक्षकों को छात्रों उत्तर पुस्तिका, रिवार्ड लिस्ट में अंक दर्ज करना, किसी अन्य शिक्षक द्वारा उत्तर पुस्तिका की क्रॉस चेकिंग करना, कक्षा अध्यापकों द्वारा सभी विषयों के अंकों का मिलान करना, टीचर्स डायरी और मास्टर रिकॉर्ड शीट में अंक दर्ज करना, व्यक्तिगत रिपोर्ट कार्ड तैयार करने के बाद ऑनलाइन मॉड्यूल पर डेटा स्थानांतरित करना।
शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया की ओर से बीते दिनों अपनी टीम को सरकारी स्कूल शिक्षकों से बात करके परीक्षा प्रक्रिया को समझने और इस बारे में जानकारी प्राप्त करने के निर्देश दिए गए थे कि परीक्षा प्रक्रिया को कैसे सरल बनाया जा सकता है, ताकि शिक्षकों को परीक्षा परिणाम संबंधित कार्य में अधिक समय खर्च न करना पड़े।