संत बाबा रामसिंह जी का निधन संत समाज, देश, राज्य तथा मेरे लिए अपूरणीय क्षति है। यह अत्यंत दुख का क्षण है, बाबा जी की आत्मा, परमात्मा में विलीन हो। हम उनके दिखाए मानव-कल्याण के मार्ग पर चलने को संकल्पित हैं, यही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
— Manohar Lal (@mlkhattar) December 17, 2020
करनाल के संत बाबा राम सिंह जी ने कुंडली बॉर्डर पर किसानों की दुर्दशा देखकर आत्महत्या कर ली। इस दुख की घड़ी में मेरी संवेदनाएँ और श्रद्धांजलि।
कई किसान अपने जीवन की आहुति दे चुके हैं। मोदी सरकार की क्रूरता हर हद पार कर चुकी है।
ज़िद छोड़ो और तुरंत कृषि विरोधी क़ानून वापस लो! pic.twitter.com/rolS2DWNr1
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) December 16, 2020
सुसाइड नोट के अनुसार संत रामसिंह से किसानों का दर्द नहीं देखा जा रहा है। उन्होंने लिखा, वो अपना हक लेने के लिए सड़कों पर हैं, बहुत दिल दुखा है। सरकार न्याय नहीं दे रही। जुल्म करना पाप है, जुल्म सहना भी पाप है। नोट में आगे लिखा कि किसी ने किसानों के हक में और जुल्म के खिलाफ कुछ नहीं किया। यह जुल्म के खिलाफ आवाज है। वाहेगुरु जी का खालसा, वाहेगुरु जी की फतेह।