हुड्डा ने रखी सोनिया के आगे दो शर्त - Latest News In Hindi, Breaking News In Hindi, ताजा ख़बरें, Daily News In Hindi

लोकसभा चुनाव 2024

पहला चरण - 19 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

102 सीट

दूसरा चरण - 26 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

89 सीट

तीसरा चरण - 7 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

94 सीट

चौथा चरण - 13 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

96 सीट

पांचवां चरण - 20 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

49 सीट

छठा चरण - 25 मई

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

सातवां चरण - 1 जून

Days
Hours
Minutes
Seconds

57 सीट

दूसरा चरण - 26 अप्रैल

Days
Hours
Minutes
Seconds

89 सीट

हुड्डा ने रखी सोनिया के आगे दो शर्त

पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने प्रदेश कांग्रेस प्रभारी गुलाम नबी आजाद के साथ कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से उनके 10 जनपथ स्थित आवास पर भेंट की।

नई दिल्ली : हरियाणा कांग्रेस में राजनीतिक घटनाक्रम तेजी से बदल रहा है। गुरूवार को पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने प्रदेश कांग्रेस प्रभारी गुलाम नबी आजाद के साथ कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से उनके 10 जनपथ स्थित आवास पर भेंट की। सूत्रों के अनुसार लगभग एक घंटा चली इस मुलाकात में हुड्डा ने सोनिया गांधी के सामने दो शर्तें रखी हैं। पहली शर्त में हुड्डा ने कांग्रेस अध्यक्ष को कहा कि पाटी उन्हें मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित करें। दूसरी शर्त में या तो उन्हें या फिर उनके बेटे दीपेंद्र सिंह हुड्डा को प्रदेश कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया जाए। 
उल्लेखनीय है कि हुड्डा ने 18 अगस्त को रोहतक में एक बड़ी रैली करके हाईकमान पर दबाव बना दिया है कि हरियाणा में कांग्रेस नेतृत्व परिवर्तन करे। हुड्डा ने रैली में खुद को किसी भी बंधन से मुक्त होने की बात भी कही थी। इस दौरान हुड्डा ने एक 38 सदस्यीय कमेटी भी बनाइ है, जो कि हुड्डा के अगले कदम का फैसला करेगी। हुड्डा के इन बगावती तेवरों को देखते हुए हाईकमान ने उन्हें दिल्ली बुलाया था। 
पार्टी महासचिव और हरियाणा मामलों के प्रभारी गुलाम नबी आजाद ने हुड्डा को यह कह कर मनाने की कोशिश की थी कि पार्टी ने उन्हें 10 सालों तक मुख्यमंत्री बनाया है इसलिए  संयम से काम लेना चाहिए। मगर एक दर्जन विधायकों ने हुड्डा पर दबाव बना रखा है कि वह अशोक तंवर को अध्यक्ष पद से हटाने के लिये हाईकमान को मनाए। 
इसी कड़ी में हाईकमान ने कुमारी शैलजा, दीपेंद्र हुड्डा और कप्तान अजय सिंह यादव को दिल्ली बुलाया था। प्रदेश के राजनीतिक हल्कों में चर्चा है कि शैलजा को अध्यक्ष बनाकर और कप्तान अजय यादव और दीपेंद्र सिंह हुड्डा को कार्यकारी अध्यक्ष बना कर कांग्रेस विधानसभा चुनावों में उतर सकती है।
सोनिया गांधी ने सामने रखे कई विकल्प
हुड्डा गुट के एक विधायक से मिली जानकारी के अनुसार सोनिया गांधी व गुलाम नबी आजाद ने हुड्डा के सामने कई विकल्प रखे हैं। जिसके चलते हाईकमान ने हुड्डा को चुनाव कमेटी का चेयरमैन बनाने, चुनाव संबंधी बनने वाली सभी कमेटियों का संयोजक बनाने, तंवर के रहते हुड्डा की पसंद के तीन कार्यकारी अध्यक्ष बनाने, कुमारी सैलजा को पार्टी की कमान सौंपकर हुड्डा विधायक दल का नेता बनाने तथा अन्य नेताओं को चुनाव संबंधी कमेटियों का चेयरमैन नियुक्त करने के विकल्प रखे हैं। 
हालांकि हुड्डा ने सोनिया गांधी से मुलाकात के बाद मीडिया से किसी तरह की बात नहीं की है लेकिन अपने गुट के  बेहद करीबी नेताओं से इन विकल्पों के बारे में मंत्रणा जरूर की है। आज की बैठक में सोनिया गांधी ने हुड्डा के समक्ष उक्त विकल्प रखते हुए साफ कर दिया है कि बिना किसी देरी के गुटबाजी खत्म होनी चाहिए और सभी नेताओं का एक मंच पर आना जरूरी है। 
आज की बैठक में हुड्डा किसी भी विकल्प पर सहमत होने की बजाए यह कहते हुए बाहर आए हैं कि वह अपने साथियों से विचार-विमर्श करेंगे। बताया जाता है कि हुड्डा से मुलाकात के बाद सोनिया गांधी ने शुक्रवार को हरियाणा कांग्रेस प्रभारी गुलाम नबी आजाद को फिर से बुलाया है। अब गुलाम नबी आजाद से बैठक के बाद ही हरियाणा के संबंध में कोई फैसला होगा।
शैलजा अध्यक्ष पद की दौड़ में सबसे आगे कांग्रेस जाट बनाम 35 के प्रभाव कम करने की कोशिश में
कांग्रेस में अशोक तंवर की कुर्सी पर बैठने के लिये कई दावेदार हैं जिसमें भूपेंद्र सिंह हुड्डा, दीपेंद्र सिंह हुड्डा, कप्तान अजय सिंह यादव, कुमारी शैलजा और रणदीप सिंह सुरजेवाला शामिल हैं। अशोक तंवर भी अपने आप का बचाए रखने की हर संभव कोशिश कर रहे हैं। बताया जा रहा है कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी तंवर को हटाने की सूरत में कुमारी शैलजा को अध्यक्ष बना सकती हैं और चुनाव लड़ने के लिये भूपेंद्र सिंह हुड्डा का नाम आगे कर सकती हैं। कांग्रेस भी जाट बनाम 35 बिरादरी के प्रभावों को कम करने की कोशिश में किसी गैर जाट को ही अध्यक्ष बना सकती है और कुमारी शैलजा की लाटरी इसमें लग सकती है।
राहुल का नजदीकी होने के कारण कुर्सी पर बने हुए हैं तंवर
हरियाणा कांग्रेस में भूपेंद्र सिंह हुड्डा के बगावती तेवरों के बीच कयास लगाये जा रहे हैं कि वर्तमान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अशोक तंवर को अपनी कुर्सी छोड़नी पड़ सकती है। तंवर को राहुल गांधी का नजदीकी माना जाता है और अभी तक वह हरियाणा के कांग्रेस अध्यक्ष बने हुए है तो इसका कारण भी राहुल गांधी से उनकी नजदीकियां हैं। 
सोनिया गांधी के कमान संभालने के बाद से हुड्डा ने अपनी सक्रियता दिल्ली दरबार में बढ़ा दी है और सोनिया गांधी भी हुड्डा के हरियाणा में प्रभाव को जानती हैं। सोनिया गांधी को पता है कि अगर  हरियाणा में कांग्रेस को बचाए रखना है तो जनभावनाओं का सम्मान भी करना होगा। अशोक तंवर के प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद पर रहते हुए पार्टी का प्रदर्शन भी कुछ खास नहीं रहा है। 
आगामी चुनावों से पहले अगर हरियाणा कांग्रेस में नेतृत्व का मुद्दा नहीं सुलझा तो भाजपा को वापसी करने से कोई नहीं रोक पाएगा। गुलाम नबी आजाद पिछले दो दिन से इसी प्रयास में लगे हुए हैं  कि हरियाणा कांग्रेस की गुटबाजी को कम किया जाए। इसीलिए उन्होंने सभी गुटों को एक मंच भी बैठ कर देखा है और वह अलग-अलग भी मिल रहे हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

1 × 2 =

पंजाब केसरी एक हिंदी भाषा का समाचार पत्र है जो भारत में पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली के कई केंद्रों से प्रकाशित होता है।