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जींद में दुर्गा भक्तों का तांडव

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जींद: दुर्गा माता के जयकारों और हरियाणा की भाजपा सरकार मुर्दाबाद के नारों से पूरा जींद शहर गूंज रहा था। दूर-दूर तक सड़कों पर मां के श्रद्धालु ही गूंजते हुए नजर आ रहे थेे। प्रदेश के मुख्यमंत्री के खिलाफ विरोध की आग निकालते हुए मां के भक्त लघुसचिवालय पहुंचे, जहां उपायुक्त कार्यालय के माध्यम से देश के महामहिम राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, हरियाणा के राज्यपाल और मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा। विरोध प्रदर्शन से पहले श्रद्धालु जींद की पुरानी अनाज मंडी में जमा हुए। महासम्मेलन में मां के भक्तों में भारी संख्या में पुरूष और महिलाओं ने जहां मां के जयकारें लगाएं, वहीं प्रदेश के मुख्यमंत्री को जमकर कोसा।

यहां महा सम्मेलन के मंच पर साधू-संतों, महामंडलेश्वरों, खापों से जुड़े चौधरियों और विभिन्न संगठनों के प्रधानों ने माता बनभौरी के सरकारीकरण के विरोध में भाजपा सरकार के खिलाफ ललकार भरते हुए चुनौती दे डाली की, यदि 15 दिन के अंतराल में मुख्यमंत्री ने हिन्दुत्व पर चोट करने वाले फैसले को वापिस नहीं लिया तो इसके दूरगामी दुष्परिणाम सामने आएंगे। विरोध की जो आग आज जींद से उठी है, वह केवल हरियाणा में ही नहीं, बल्कि पूरे देश में फैलेगी।

मुख्यमंत्री की इस गलती का खामियाजा पूरे राष्ट्र में भाजपा को भुगतना पड़ेगा। ब्राह्मण सभा जींद के तत्वाधान में आयोजित हुए इस महासम्मेलन के मंच के माध्यम से भारत साधू समाज के अध्यक्ष बंसीपुरी, महंत रूद्रपुरी, महामंडलेश्वर स्वामी प्रेमानंद, महामंडलेश्वर उत्तमपुरी, स्वामी शाश्वानंद गिरि, अखिल भारतीय तीर्थ पुरोहित महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रकाश मिश्रा, देवा फाऊंडेशन की चेयरमैन देवा ठाकुर, अखिल भारतीय हिन्दू महासभा के राष्ट्रीय महासचिव डॉ. पूजा शकुन पांडे, स्वामी सूर्यानंद सरस्वती, ब्राह्मण सभा जींद के प्रधान मास्टर भगवान दत्त शर्मा, ब्राह्मण आरक्षण संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष हरिराम दीक्षित, ब्राह्मण सभा हिसार के प्रधान डॉ. दयानंद, युवा बिग्रेड हरियाणा के प्रदेशाध्यक्ष सुशील मंगाली, कंडेला खाप के प्रधान टेकराम कंडेला, सर्वजातीय सर्व खाप हरियाणा के प्रधान मेवासिंह छात्तर, चंद्रानंद स्वामी, अखिल भारतीय ब्राह्मण सभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रमोद कौशिक, पूर्व आईजी रणबीर शर्मा, अनुसूचित एवं जनजाति।

परिसंघ के हरियाणा-पंजाब प्रभारी महासिंह भूरानिया, इंद्रप्रस्थ संस्थान के चेयरमैन कपिल शर्मा, माता बनभौरी धाम समिति के चेयरमैन सुरेंद्र कौशिक, शिवकुमार कौशिक, जयहिंद मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुरेश शर्मा, नरेंद्र कौशिक बात्ता, जाट अरक्षण संघर्ष समिति के प्रधान रणबीर फौजी, ब्राह्मण महासभा के राष्ट्रीय प्रभारी महेश कौशिक, तारकेश्वर शर्मा, नगर परिषद जींद के पूर्व प्रधान विनोद आसरी, पार्षद सुधीर कौशिक, एबीवीपी नेता सुशील शास्त्री, देवेंद्र अत्री, ओमनारायण सिंह, फूलकुमार शास्त्री सहित 80 खापों के चौधरियों ने हुंकार भरते हुए कहा कि माता के मंदिर का सरकारीकरण किसी भी सूरत में नहीं होने दिया जाएगा। इसके लिए मुख्यमंत्री को उनकी लाशों से गुजरकर ही सरकारीकरण करना होगा। विधानसभा में इस काले कानून का प्रस्ताव लाने वाली मंत्री कविता जैन और उस पर स्वीकृति की मोहर लगाने वाले मुख्यमंत्री मनोहरलाल का पूर्णतौर से सामाजिक बहिष्कार होगा।

मुख्यमंत्री और उनकी यह मंत्री जहां-जहां जाएगी, उनको लोगों के गुस्से का सामना करना पड़़ेगा। महासम्मेलन की अध्यक्षता कर रहे भारत साधू समाज के अध्यक्ष बंसीपुरी ने कहा कि मंदिर का सरकारीकरण एक-दो लोगों की रंजिशन भावना के कारण किया गया है। मुख्यमंत्री मनोहरलाल खुद अनजान है या फिर वे जानबूझकर लाखों लोगों की भावना को भड़का रहेे हैं। उन्होंने कहा कि बड़े शर्म की बात है कि श्यामा प्रसाद मुखर्जी और पंडित दीनदयाल उपाध्याय के सिद्धांतों को लेकर चलने वाली जिस भाजपा की नीति और संस्कृति में कभी भी मंदिरों का सरकारीकरण करने की सोच नहीं रही है। फिर भी हरियाणा की भाजपा सरकार ने यह पीड़ादायक फैसला लेकर हिन्दुत्व की भावनाओं को चोट पहुंचाने का काम क्यों किया। माता बनभौरी पर सरकारीकरण की जो तलवार लटकाई गई है, उसे लाखों श्रद्धालु किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेंगे। इस मंदिर से केवल दर्जनों परिवार या फिर 1100 पंडित ही नहीं जुड़े, बल्कि इसके पीछे लाखों श्रद्धालुओं की भावनाएं उमड़ रही है।

उन्होंने कहा कि किसी समय मुगलों ने हिन्दुओं की भावनाओं को आघात पहुंचाने का काम किया था। आज खुद को हिन्दुत्व की रक्षक बताकर सत्ता में आने वाली भाजपा सरकार साधू और ब्राह्मणों को बर्बाद करने पर तुली हुई है। स्वामी सूर्यानंद सरस्वती ने मंच संचालन करते हुए सरकार को साधुओं की तरफ से चेतावनी देते हुए कहा कि मंदिर और मठों की ओर हरियाणा सरकार गिद्ध दृष्टि से ना देखें, इसके दुष्परिणाम सामने आएंगे। अगर सरकार अभी नहीं चेती तो उसे चित करने का काम किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यूपी के मुख्यमंत्री योगी संत समाज का विशेष ध्यान रखते है। इसलिए वे हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर को सद्बुद्धि देने का काम करें। महासम्मेलन के बाद माता के श्रद्धालू भारी जोश-खरोश से विरोध प्रदर्शन करते हुए लघुसचिवालय पहुंचे, जहां उन्होंने एसडीएम महाबीर प्रसाद के मार्फत महामहिम राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, हरियाणा के राज्यपाल और मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपा।

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– संजय शर्मा

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