रोहतक : एवीटी स्टाफ की टीम ने गुप्त सूचना के आधार पर हत्या के मामले में गत एक साल से फरार चल रहे 25 हजार के ईनामी बदमाश को गिरफ्तार किया है। बताया जा रहा है कि बदमाश नेशनल गेम में कास्य पदक विजेता भी रहा है। पुलिस ने आरोपी को अदालत में पेश किया, जहां से अदालत ने उसे दो दिन के पुलिस रिमांड पर भेज दिया। पुलिस का कहना है कि आरोपी से अन्य कई वारदातों का भी खुलासा हो सकता है। पुलिस आरोपी से पूछताछ कर रही है।
मंगलवार को पत्रकारों से बातचीत करते पुलिस अधीक्षक जश्रदीप सिंह रंधावा ने बताया कि एवीटी स्टाफ टीम के प्रभारी मनोज वर्मा को सूचना मिली कि वर्ष 2017 में हुए बलबीर हत्याकांड का मुख्य आरोपी व मोस्ट वांटेड अपराधी राकेश मोखरिया आऊटर बाईपास पर झ’जर रोड़ पुल के पास किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने के ईरादे से घूम रहा है। सूचना मिलते ही टीम मौके पर पहुंची और आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। तलाशी लेने पर आरोपी के कब्जे से एक 30 बोर का देसी पिस्तौल बरामद हुआ।
प्रारंभिक जांच में सामने आया कि वर्ष 2005 में जयकुंवार निवासी झ’जर की हत्या करके आरोपी राकेश ने अपराध जगत में कदम रखा था। उक्त मामले में छह साल जेल में रहने के बाद आरोपी ने बाहर आकर शराब के ठेकेदारी का काम करना शुरु कर दिया। इस काम मे गांव आसन निवासी बलबीर जो शराब के ठेके लेता था रोडा बन रहा था। तब उसने गैगस्टर रोहताश आसनिया के कहने पर 2017 में बलबीर ठेकेदार की अपने साथियों के साथ मिलकर गोलियां मारकर हत्या की थी। वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी राकेश राजस्थान में छिप कर रहने लगा।
आरोपी राकेश गैगस्टर रोहताश आसनिया के जेल से बाहर निकलने का इंतजार कर रहा था ताकि रोहताश के निकलने के बाद फिर से अपने गैंग का वर्चस्व बना सके। आरोपी राकेश की गिनती रोहतक के अ’छे पहलवानो में कई जाती थी और वर्ष 2003 में हरियाणा राज्य के लिए स्वर्ण पदक जीता था। वर्ष 2003 में ही तालकटोरा स्टेडियम दिल्ली में राष्ट्रीय स्तर के पहलवानो के दंगल में ब्रोंज मैडल हासिल किया था। पुलिस आरोपी से यह पता करने में जुटी है कि फरारी के दौरान किन-किन आपराधिक वारदातों को अंजाम दिया गया है। साथ ही पुलिस ने अधीक्षक ने मोस्टवांटेड अपराधी को पकडने वाली टीम को भी सम्मानित किया।
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(मनमोहन कथूरिया)