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सरकार RBI को बकाएदारों की सूची का खुलासा करने का निर्देश क्यों नहीं दे रही : कांग्रेस

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कांग्रेस ने रविवार को मांग की कि भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार आरबीआई को बैंकों की वार्षिक निरीक्षण रिपोर्ट और जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाने वाले लोगों की सूची के बारे में जानकारी का खुलासा करने के निर्देश दे। साथ ही उसने आरोप लगाया कि सरकार अपने ‘‘सांठगांठ वाले पूंजीपति मित्रों’’ को बचाने के लिए ऐसा नहीं कर रही है।

विपक्षी पार्टी ने सवाल किया कि केंद्र सरकार भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को बैंकों की वार्षिक निरीक्षण रिपोर्ट के बारे में सूचना का खुलासा करने का एक पंक्ति में निर्देश क्यों नहीं दे रही है।

गौरतलब है कि उच्चतम न्यायालय ने सूचना का अधिकार (आरटीआई) कानून के तहत बैंकों की वार्षिक निरीक्षण रिपोर्ट जैसी सूचना का खुलासा करने से आरबीआई को छूट देने वाली अपनी नीति वापस लेने का शुक्रवार को उसे (आरबीआई को) ‘‘आखिरी मौका’’ दिया था।

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कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा, ‘‘बैंकिंग विनियमन अधिनियम और आरबीआई अधिनियम के तहत, भारत सरकार को आरबीआई को खुलासा करने का निर्देश देने के लिए 15 सेकेंड लगते हैं…35ए, 35बी और 35एए (बैंकिंग विनियमन अधिनियम) के विशिष्ट प्रावधान हैं जो केन्द्र सरकार को यह शक्ति प्रदान करता है…सरकार खुलासा किये जाने के लिए एक पंक्ति का निर्देश क्यों नहीं दे रही है।’’

सिंघवी ने यहां संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘उच्चतम न्यायालय ने 2015 में निर्देश दिये थे कि आपको सूचनाओं का अवश्य खुलासा करना चाहिए। चार वर्षों की लंबी अवधि के बाद इस सरकार के निर्देशन में आरबीआई स्पष्ट रूप से चीजों को छुपाना चाहती है… बाधाएं खडी की गयी हैं, टाला गया है और बहाने दिये गये हैं।’’

उन्होंने सवाल किया, ‘‘आरबीआई क्यों नहीं बता रही है…क्या किसी को बचाया जा रहा है।’’ सिंघवी ने पूछा कि क्या भाजपा सत्ता से साठगांठ रखने वाले पूंजीपतियों को बचाने का प्रयास कर रही है, जिनके नाम आरबीआई की उस सूची में शामिल हैं जिन्होंने जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाया है।

रिजर्व बैंक की आंतरिक सूची में आने वाले ‘विलफुल डिफॉल्टरों’ के बारे में उन्होंने कहा, ‘‘कोई भी उन्हें जेल भेजने के लिए नहीं कह रहा है। हम केवल नाम पूछ रहे हैं … हम (कांग्रेस) इससे डरते नहीं हैं, तो आप क्यों डरते हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘कुछ सप्ताह पहले हमने आपको बताया था कि इस (भाजपा) सरकार के पांच साल के भीतर डिफॉल्ट और एनपीए (गैर निष्पादित परिसंपत्तियां) बढ़ गया। हमने भाजपा से कर्ज नहीं चुकाने वाले लोगों के बारे में सूचना देने के लिए कहा था।’’

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया कि ‘‘कई डिफॉल्टर मोदी के सामने ही भारत से भाग गए हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हम नीरव मोदी, ललित मोदी और चोकसी के नाम जानते हैं और सूची बड़ी लंबी है।’’

इस बीच, सिंघवी ने यह भी दावा किया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का चुनाव प्रचार के दौरान जाति संदर्भ का इस्तेमाल करना उनकी घबराहट का संकेत है।

सिंघवी ने कहा, ‘‘हमें क्या भाषण दिया गया था कि हम जाति से ऊपर हैं। हम इसके बारे में बात नहीं करते हैं। दुनिया में हर कोई इसके बारे में बात करता है लेकिन मोदीजी इसके बारे में बात नहीं करते हैं। अब, आप अपने सामने सबूत देख सकते हैं। यह (प्रधानमंत्री द्वारा जाति का इस्तेमाल) घबराहट का लक्षण है।’’

प्रधानमंत्री ने शनिवार को उत्तर प्रदेश में एक भाषण में कहा था, ‘‘मायावती जी मैं सबसे पिछड़ा हूं… मैं हाथ जोड़कर विनती करता हूं कि मुझे जाति की राजनीति में न घसीटें, 130 करोड़ लोग मेरे परिवार हैं।’’

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