मध्य प्रदेश में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी ने शुक्रवार को दावा किया कि राष्ट्रपति चुनाव में विपक्षी दल के 19 विधायकों ने द्रौपदी मुर्मू के पक्ष में मतदान किया।
मुर्मू (64) ने बृहस्पतिवार को विपक्ष के उम्मीदवार यशवंत सिन्हा को एक तरफा मुकाबले में हराकर भाजपा के पहली आदिवासी राष्ट्रपति बनकर एक इतिहास रचा। उन्होंने मतगणना में 64 प्रतिशत से अधिक वैध मत हासिल कर सिन्हा के खिलाफ भारी अंतर से जीत हासिल की। राष्ट्रपति चुनाव के लिए 18 जुलाई को मतदान हुआ था।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा ने पत्रकारों से कहा, ‘‘ आज मैं गर्व के साथ कह सकता हूं कि मध्य प्रदेश में 19 विधायकों (गैर भाजपा विधायकों) ने अपनी अंतरात्मा की आवाज के अनुसार बहन द्रौपदी मुर्मू के पक्ष में मतदान किया। इसने पूर्व मुख्यमंत्रियों –कमलनाथ और दिग्विजय सिंह (कांग्रेस के) के आदिवासी विरोधी चेहरे का पर्दाफाश किया है।’’
शर्मा ने कहा, ‘‘ मैं उन सभी 19 विधायकों को धन्यवाद देता हूं जिन्होंने द्रौपदी मुर्मू जी को चुनने में अपनी भागीदारी दिखाने के लिए इस ऐतिहासिक फैसले में क्रॉस वोटिंग की।’’
मध्य प्रदेश के 230 सदस्यीय विधानसभा में भाजपा के 127 और कांग्रेस के 96 विधायक हैं। इसके अलावा बसपा के दो, सपा का एक और चार निर्दलीय विधायक हैं।
मुर्मू भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की उम्मीदवार थी। बसपा और सपा ने औपचारिक तौर पर मुर्मू को अपना समर्थन दिया था।
गुप्त मतदान के माध्यम से होने वाले राष्ट्रपति चुनाव में राजनीतिक दल अपने विधायकों एवं सांसदों को व्हिप जारी नहीं कर सकते हैं।