पिथौरागढ़ : उत्तराखंड की नंदा देवी पूर्वी चोटी के रास्ते पर लापता हुए पर्वतारोहियों के शव इस क्षेत्र में फिर हुए हिमस्खलन के बाद बर्फ में काफी नीचे दब गए हैं।
भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टरों ने तीन जून को नंदा देवी चोटी के पश्चिमी हिस्से में एक चोटी के नजदीक तीन शव देखे थे।
पिथौरागढ़ जिलाधिकारी वी के जोगडांगे ने भारत-तिब्बत पुलिस बल (आईटीबीपी) के हवाले से कहा कि शवों को निकालने गई आईटीबीपी की टीम को खुदाई करनी होगी क्योंकि शव ताजा हिमस्खलन के बाद बर्फ में काफी नीचे दब गए हैं।
आईटीबीपी के डीआईजी एपीएस निम्बारिया ने कहा, ‘आईटीबीपी ने उत्तरकाशी से उच्च स्थानों पर खुदाई करने वाली अपनी टीम को बुलाया है, जो 17800 फुट की ऊंचाई पर मौजूद शवों को निकालकर 13000 फुट की ऊंचाई पर बेस कैंप- 2 पर ले जाएंगी।’
उन्होंने कहा कि इसके बाद वायुसेना के हेलीकॉप्टर बेस कैंप से शवों को पिथौरागढ़ जिला मुख्यालय ले जाएंगे।
जिला मजिस्ट्रेट ने शवों की खोज और बचाव अभियान की तैयारी पर कहा कि भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टरों ने सभी तरह की रसद को नंदा देवी पूर्वी चोटी के बेस-2 पर उतार दिया है और चार दिन बाद खोज और बचाव टीम शवों तक पहुंच जाएगी।
आईटीबीपी टीम के अलावा, अनुभवी पर्वतारोही ध्रुब जोशी के नेतृत्व में भारतीय पर्वतारोहण फाउंडेशन की 14 सदस्यीय टीम इन शवों की तलाश में पिंडारी ग्लेशियर की ओर से नंदादेवी क्षेत्र की ओर जा रही है।