उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत पर स्टिंग मामले को लेकर सीबीआई एफआईआर दर्ज कर कभी भी गिरफ्तार कर सकती है। सीबीआई ने मंगलवार को उच्च न्यायालय को इस मामले की जानकारी दी। बता दे कि सीबीआई वर्ष 2016 में सामने आये स्टिंग वीडियो के मामले को लेकर प्राथमिकी दर्ज करेगा ।
इस मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की एकल पीठ कर रही है। उच्च न्यायालय में स्टिंग मामले की सुनवाई 20 सितंबर की तिथि तय है। वहीँ, इससे पहले सीबीआई ने उच्च न्यायालय में 21 अगस्त को स्टिंग मामले की प्रारंभिक जांच पूरी करने की जानकारी के साथ जल्द सुनवाई का अनुरोध कोर्ट से किया था।
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बताया जा रहा है कि हरीश रावत को स्टिंग मामले को लेकर सीबीआई कभी भी गिरफ्तार कर सकती है। सीबीआई की तरफ से कल यानि मंगलवार को नैनीताल हाई कोर्ट में मॉडिफिकेशन एप्लीकेशन दायर की थी। जिसमें कहा गया कि स्टिंग मामले में सीबीआई की प्रारंभिक जांच पूरी हो चुकी है। सीबीआई अब हरीश रावत को गिरफ्तार करना चाहती है।
बीजेपी में शामिल हुए वर्तमान काबीना मंत्री डॉ.हरक सिंह रावत ने भी इस मामले पर अलग से याचिका दायर की। याचिका में कहा गया कि राज्यपाल के स्तर से केंद्र को भेजी सीबीआई जांच की संस्तुति को प्रदेश कैबिनेट नहीं पलट सकती है। इस संबंध में हुई राज्य कैबिनेट की बैठक विधिमान्य नहीं है। इस याचिका में डॉ.हरक सिंह रावत ने हरीश रावत के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की थी।