तेलंगाना के खम्मम शहर में बलात्कार का विरोध करने पर जलाई गई किशोरी ने एक महीने बाद इलाज़ के दौरान गुरुवार को अस्पताल में दम तोड़ दिया। हैदराबाद के एक निजी अस्पताल में एक महीने तक मौत से संघर्ष करते हुए नाबालिग गुरुवार को जिंदगी की जंग हार गई।
खम्मम में 18 सितंबर को जनजातीय समुदाय की 13 वर्षीय किशोरी से कथित तौर पर घर के मालिक ने बलात्कार का प्रयास किया था जिसका विरोध करने पर आरोपी ने उसे जला दिया था। खम्मम के पुलिस आयुक्त तफसीर इकबाल ने शुक्रवार को कहा, “हैदराबाद के एक निजी अस्पताल में उपचार के दौरान गुरुवार रात को उसकी मौत हो गई।”
उन्होंने कहा कि आरोपी के विरुद्ध भारतीय दंड संहिता की कुछ धाराएं लगाई गई थीं जिन्हें बदला जाएगा। उन्होंने कहा कि मामले में धारा 307 (हत्या का प्रयास) को बदलकर अब धारा 302 (हत्या) लगाई जाएगी। हालांकि घटना 18 सितंबर को हुई थी लेकिन पीड़िता को इलाज के लिए एक निजी अस्पताल में भर्ती किये जाने के बाद पुलिस को इसके बारे में पांच अक्टूबर को पता चला।
पुलिस ने बताया था कि घटना के दिन घर के मालिक ने किशोरी से बलात्कार करने का प्रयास किया और इसमें असफल रहने पर उसने किशोरी पर पेट्रोल डालकर उसे जला दिया। पुलिस के अनुसार किशोरी सत्तर प्रतिशत तक जल गई थी। तेलंगाना राज्य मानवाधिकार आयोग ने घटना के बारे में मीडिया में आई खबरों का स्वतः संज्ञान लिया और खम्मम पुलिस से इस बाबत रिपोर्ट तलब की।