राज्यपाल पीबी आचार्य ने टीआर जेलियांग को आज नागालैंड का नया मुख्यमंत्री नियुक्त किया और उनसे 22 जुलाई से पहले सदन में बहुमत साबित करने को कहा। आपको बता दे कि टीआर जीलियांग ने 60 सदस्यों वाली विधानसभा में 41 सदस्यों का समर्थन के साथ नई सरकार के गठन का दावा किया था।
शुरहोजेली लीजित्सु और उनके समर्थकों के बहुमत साबित करने के लिए विधानसभा न पहुंचने के थोड़ी देर बाद ही राज्यपाल ने जेलियांग को नया मुख्यमंत्री नियुक्त कर दिया।
गौरतलब है कि नागालैंड के राज्यपाल पीबी आचार्य के निर्देश के मुताबिक 19 जुलाई की सुबह 9:30 पर सभी विधायक नागालैंड की विधानसभा में शक्ति परिक्षण के लिए एकट्ठा होना था। मौजूदा मुख्यमंत्री एस. लेजित्सु को अपनी सरकार बचाने के लिए आज किए जा रहे शक्ति परिक्षण में विश्वासमत हासिल करना था। लेकिन शक्ति परिक्षण शुरू होने के कुछ देर पहले ही उन्होंने इसमें भाग लेने से इनकार कर दिया। जिसके बाद विधानसभा को अनिश्चित काल के टाल दिया गया है।
आपको ये भी बता दे कि यह दूसरा मौका है जब 65 साल के टीआर जेलियांग नागालैंड के मुख्यमंत्री बनेंगे। उन्होंने महिलाओं के लिए 33 % सीट आरक्षण के साथ स्थानीय चुनाव आयोजित किया था जिसपर सांप्रदायिक लोगों के समूहों द्वारा हिंसक विरोध हुआ और उन्होंने मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद 80 साल के शुरहोजेली लीजित्सु ने मुख्यमंत्री पद को संभाला।
वही गुवाहाटी हाईकोर्ट की कोहिमा पीठ ने मंगलवार को नागालैंड के मुख्यमंत्री एस. लेजित्सु की उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें उन्होंने सदन में शक्ति परीक्षण के राज्यपाल पीबी आचार्य के निर्देश पर रोक लगाने की मांग की थी।
इसके बाद अब नगा पीपुल्स फ्रंट (NPF) के बागी गुट के साथ समझौता नहीं होने की हालत में शक्ति परीक्षण में लेजित्सु सरकार की हार तय मानी जा रही है। सियासी गिलियारों में इस बात के कयास लगाए जा रहे हैं कि फ्लोर टेस्ट से पहले मुख्यमंत्री एस. लेजित्सु इस्तीफा भी दे सकते हैं।