शिवसेना ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पद पर अपना दावा नहीं छोड़ने का संकेत देते हुए गुरुवार को कहा कि सत्ता के समान बंटवारे का मतलब निश्चित रूप से शीर्ष पद की साझेदारी भी है। पार्टी ने सख्त लहजे में बीजेपी पर आरोप लगाया कि पार्टी अपने गठबंधन साझेदारों के साथ ‘‘इस्तेमाल करो और छोड़ दो’’ की नीति अपना रही है।
बीजेपी और शिवसेना गठबंधन ने विधानसभा चुनाव में जीत हासिल की है, हालांकि सत्ता के बंटवारे पर सहमति नहीं बन पाने के चलते नई सरकार के गठन को लेकर गतिरोध बना हुआ है। शिवसेना के मुखपत्र सामना के एक संपादकीय में कहा गया है कि लोकसभा चुनाव से पहले दोनों दलों के बीच गठबंधन होने के समय जो तय हुआ था, उसे लागू करना चाहिए।
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इसमें कहा गया, ‘‘महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री ने उस संवाददाता सम्मेलन (दोनों दलों द्वारा गठबंधन करने के बाद आयोजित) में कहा था कि सभी सरकारी पद समान रूप से साझा किए जाएंगे।’’ शिवसेना ने कहा, ‘‘अगर मुख्यमंत्री का पद इसके तहत नहीं आता है तो हमें राजनीतिक विज्ञान का पाठ्यक्रम दोबारा लिखने की जरूरत है।’’
संपादकीय में लिखा गया है, ‘‘2014 के लोकसभा चुनावों में शानदार प्रदर्शन करने के बाद बीजेपी ने शिवसेना से राह अलग कर ली और पार्टी ‘इस्तेमाल करो और छोड़ दो’ के आधार पर चलना चाहती है।’’ इसमें कहा गया है, ‘‘लेकिन हम आसानी से खत्म नहीं होंगे क्योंकि हमारे पास जनता का समर्थन है।’’