गुजरात में चार राज्यसभा सीटों के लिए 19 जून को चुनाव होने हैं। वहीं इससे पहले गुजरात में कांग्रेस के दो विधायकों ने इस्तीफा दे दिया है। गुजरात विधानसभा अध्यक्ष राजेंद्र त्रिवेदी ने कहा कि कांग्रेस विधायक अक्षय पटेल और जीतू चौधरी ने बुधवार को उनसे मुलाकात की और अपना इस्तीफा सौंप दिया।
त्रिवेदी ने गुरुवार को कहा, ‘‘ मैंने उनका इस्तीफा स्वीकार कर लिया है। अब वे विधायक नहीं है।’’ पटेल वडोदरा की कर्जन सीट का और चौधरी वलसाड की कपराडा सीट का प्रतिनिधि करते थे। इससे पहले मार्च में भी कांग्रेस के पांच विधायकों ने इस्तीफा दे दिया था। राज्य की 183 सदस्यीय विधानसभा में सत्तारूढ़ भाजपा के 103 और विपक्षी दल कांग्रेस के 66 विधायक हैं।
राज्य से राज्यसभा की चार सीटों के लिए हाल ही में भाजपा ने तीन और कांग्रेस ने दो उम्मीदवारों की घोषणा की है। भाजपा ने अभय भारद्वाज, रमीला बारा और नरहरी अमीन को मैदान में उतारा है, जबकि कांग्रेस ने वरिष्ठ नेता शक्तिसिंह गोहिल और भरतसिंह सोलंकी को उम्मीदवार बनाया है।
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बता कि पहले बुधवार को कांग्रेस के तीन विधायकों ने गांधीनगर में मुख्यमंत्री विजय रूपाणी और उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल से मुलाकात की, जिससे उनके दल-बदल की अटकलें लगनी शुरू हो गईं। हालांकि इन विधायकों ने अफवाहों को दरकिनार कर दावा किया कि वे कोरोना वायरस तथा लॉकडाउन से संबंधित विभिन्न मुद्दों के संबंध में बात करने गए थे।
कांग्रेस विधायक किरीट पटेल, ललित वसोया और ललित कागथारा ने बुधवार दोपहर गांधी नगर में राज्य सचिवालय में मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री से मुलाकात की। जब उनसे भाजपा नेताओं से अचानक हुई इस मुलाकात के बारे में पूछा गया तो पाटन विधानसभा सीट से विधायक किरीट पटेल ने कहा कि उनमें से कोई भी भाजपा में शामिल नहीं होने जा रहा।
पटेल ने कहा, ”हम कुछ मांगे लेकर पहले उपमुख्यममंत्री और फिर मुख्यमंत्री से मिलने गए थे। उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल से मुलाकात के दौरान मैंने पाटन के धारपुर अस्पताल में बिस्तरों की संख्या बढ़ाने का अनुरोध किया ताकि उत्तरी गुजरात के और अधिक कोरोना वायरस रोगियों का वहां इलाज हो सके।” कागथारा और वसोया ने कहा कि उन्होंने लॉकडाउन के दौरान लोगों, विशेषकर किसानों के खिलाफ दर्ज मामलों को वापस लेने की मांग की।