यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों की वासपी के लिए केंद्र सरकार ने अपनी मुहीम तेज कर दी है। इस बीच पंजाब के छात्रों की सुरक्षित स्वदेश वापसी को लेकर पंजाब कांग्रेस के सांसदों ने दिल्ली में अहम बैठक बुलाई। बैठक में गुरजीत औजला,जसबीर गिल,मनीष तिवारी,अमर सिंह,रवनीत बिट्टू और संतोख चौधरी मौजूद रहे।
बैठक के बाद कांग्रेस सांसदों ने कहा कि यूक्रेन युद्ध में फंसे भारतीय छात्रों की वतन वापसी केंद्र सरकार और विदेश मंत्रालय की जिम्मेदारी है। पंजाब सरकार ने मंत्रालय से इस सम्बंध में जानकारी भी साझा की। भारतीय नागरिकों को वहां से जल्द से जल्द निकाना जाना चाहिए। पंजाब सरकार की ओर से जारी आंकडों के मुताबिक राज्य के 991 लोग यूक्रेन में हैं। इनमें 500 से अधिक छात्र हैं।
वहीं बीजेपी की सहयोगी पार्टी रही शिरोमणि अकाली दल (संयुक्त) की ओर से भी मदद अभियान तेज करने की अपील की गई है। राज्य के पूर्व वित्त मंत्री परमिंदर सिंह ढींढसा ने केंद्र सरकार से सभी छात्रों को सुरक्षित वापस लाने की अपील की है। दूसरी ओर आम आदमी पार्टी के नेता भगवंत मान भी लगातार छात्रों का मुद्दा उठा रहे हैं।
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भगवंत मान ने केंद्र सरकार पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि छात्रों को वहां से निकलने को बोला जा रहा है लेकिन बाहर जाने का कोई रास्ता नहीं बताया जा रहा है। इससे पहले पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने भी विदेश मंत्रालय से वहां फंसे पंजाब के लोगों की मदद करने के लिए आगे आने की अपील की है।
पंजाब के सीएम चरणजीत सिंह चन्नी ने इस बारे में विदेश मंत्री एस जयशंकर को एक पत्र भी लिखा था। चरणजीत सिंह चन्नी ने अपने पत्र में लिखा, ''पंजाब की सरकार वहां मौजूद भारतीय मूल के छात्रों और अन्य लोगों की सुरक्षा को लेकर चिंतित है। हम उनकी वापसी के लिए केंद्र सरकार से हस्तक्षेप करने की मांग की है।''
पंजाब सरकार ने हालांकि छात्रों की मदद के लिए हेल्पलाइन जारी कर रखी हैं। पंजाब सरकार राज्य के 500 से अधिक स्टूडेंट्स का पूरा डेटा जुटा चुकी है। पंजाब सरकार की ओर से राज्य के इन छात्रों की लिस्ट केंद्र सरकार को मुहैया करवा दी गई है।