लंदन के मेयर सादिक खान ने अपने अमृतसर दौरे पर बड़ा बयान देते हुए कहा है कि वक्त आ गया है कि ब्रिटिश सरकार जलियांवाला बाग नरसंहार के लिए माफी मांगे। पाकिस्तानी मूल के खान भारत और पाकिस्तान के तीन-तीन शहरों की आधिकारिक यात्रा के तहत अमृतसर दौरे पर आए थे।
आपको बता दे कि लंदन के मेयर सादिक खान ने अपने भारत दौरे के दौरान बुधवार को अमृतसर में जलियांवाला बाग का दौरा किया। इस दौरान विजिटर बुक में उन्होंने लिखा कि 1919 में बैसाखी वाले दिन जलियांवाला बाग में जो हत्याकांड ब्रिटिश शासन की तरफ से किया गया था उसके लिए यूनाइटेड किंगडम की सरकार को बेहद खेद है।
उन्होंने लिखा कि वो घटना बेहद शर्मनाक थी और ब्रिटिश सरकार की तरफ से उस घटना के लिए वो भारतीयों से माफी मांगते हैं। उन्होंने ये भी लिखा है कि ब्रिटिश सरकार को यहां आकर माफी मांगनी चाहिए।
वहीं सादिक खान ने लिखा कि जलियांवाला बाग का इतिहास उन्हें याद है जब जर्नल डायर ने निहत्थे लोगों पर फायरिंग की थी इसलिए उन्होंने उस समय के लिए माफ़ी मांगी है और समय आ गया है की ब्रिटिश सरकार भी यहां आकर माफ़ी मांगे।
बता दे कि ब्रिगेडियर जनरल रेगिनाल्ड डायर के नेतृत्व में 13 अप्रैल 1919 को ब्रिटिश सेना ने महिलाओं, बच्चों और वृद्धों समेत सैकड़ों निर्दोष भारतीयों पर अंधाधुंध गोलियां बरसाई थीं।
पीड़ितों के पास बचकर भागने की कोई जगह नहीं थी क्योंकि सैनिकों ने एकमात्र संकरे प्रवेश द्वार को अवरुद्ध कर दिया था। औपनिवेशिक काल के दस्तावेजों के मुताबिक, मृतकों की संख्या 400 के करीब थी जबकि देश के स्वतंत्रता आंदोलन के नेताओं ने इस घटना में 1,000 से ज्यादा लोगों के मारे जाने की बात कही थी।
ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ ने अपने पति प्रिंस फिलिप के साथ अक्टूबर 1997 में जलियांवाला बाग का दौरा किया था लेकिन उन्होंने नरसंहार के लिए माफी नहीं मांगी थी। फरवरी 2013 में जलियांवाला बाग का दौरा करने के दौरान तत्कालीन ब्रिटिश प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने नरसंहार पर अफसोस जताया था।
आपको बता दे कि सादिक खान इससे पहले सचखंड श्री हरमंदिर साहिब में पहुंचे और गुरबाणी का श्रवण किया। इस मोके सादिक खान ने लंगर घर में सेवा भी की और लंगर भी खाया। इसके बाद सादिक खान जलियांवाला बाग में शहीदों को श्रदांजलि देने पहुंचे और फूल भेंट कर शहीदों को श्रदांजलि दी। लेटेस्ट खबरों के लिए यहां क्लिक करें।