अमृतसर में जोड़ा फाटक की रामलीला में असुरों के राजा रावण का पात्र निभाने वाला व्यक्ति भी ट्रेन दुर्घटना के शिकार हुए लोगों में शामिल है। रावण का किरदार निभाने के बाद युवक दलबीर सिंह रेल की पटरियों पर खड़े होकर पुतले को जलते हुए देख रहे थे तभी 58 और लोगों के साथ ट्रेन की चपेट में आने से उनकी मौत हो गई। उनकी आठ माह की एक बेटी है।
दलबीर सिंह की मां अपनी भावनाओं को काबू नहीं कर पा रही हैं। उन्होंने कहा कि उनका बेटा पिछले कई वर्षों से रामलीला में अलग-अलग किरदार निभाता रहा है। उन्होंने कहा, ”मेरे बेटे ने जोड़ा फाटक से जुड़े धोबी घाट मैदान पर हुई रामलीला में रावण का किरदार निभाया। वह अब नहीं रहा। ट्रेन ने उसको भी कुचल दिया।”
दलबीर के दोस्त मनोज ने बताया कि वह रामलीला में पिछले पांच साल से रावण की भूमिका निभा रहा था। दलबीर की मां ने कहा कि उनके बेटे के शव का तब तक अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा जब तक परिवार को सरकार से मुआवजा नहीं मिल जाता। अपने बेटे की विधवा के लिए नौकरी मांग रही दलबीर की मां ने कहा कि राज्य सरकार उनकी बहू को सरकारी नौकरी दे ताकि परिवार अपनी आजीविका चला सकें।
उन्होंने कहा, ”हमें न्याय चाहिए। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि अभी तक सरकार का कोई प्रतिनिधि या कोई नेता परिवार से मिलने नहीं आया।” दलबीर के एक अन्य दोस्त ने बताया कि तेज गति से आ रही ट्रेन को देखकर वह उन्हें बचाने के लिए भागा था। उन्होंने कहा, ”दलबीर ने सात से आठ लोगों को रेल की पटरियों से पीछे धकेला लेकिन उसकी नियति में कुछ और ही लिखा था क्योंकि ट्रेन ने उसे कुचल दिया जिससे मौके पर ही उसकी मौत हो गई।”