कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा की जमीन से जुड़े मामले में मुश्किलें और अधिक बढ़ सकती है । सूत्रों की माने तो राजस्थान में बीकानेर लैंड डील मामले की जांच अब सीबीआई को सौंप दी गई है । सीबीआई से जांच को लेकर प्रदेश सरकार ने केंद्रीय कार्मिक विभाग के सचिव को सिफारिशी पत्र भेज दिया है।
करीब 3 साल पूर्व वसुंधरा सरकार ने इस मामले की जांच के लिए एक कमेटी का गठन किया था। इस कमेटी ने रॉबर्ट वाड्रा को मामले में निर्दोष बताया था। इस मामले में ईडी भी जांच कर चुकी है। ईडी ने इससे संबंधित कई दस्तावेज मिलने का दावा किया था।
कमेटी की ओर से सरकार को सौंपी रिपोर्ट में कहा गया था कि वाड्रा की कम्पनी ने जो जमीन खरीदी वह विस्थापितों द्वारा बेची गई थी कम्पनी को इस बात की जानकारी नहीं थी कि विस्थापितों ने पहले ही मुआवजा ले लिया,ये बेचने योग्य जमीन नहीं हैं ।
आपको बता दे कि इस मामले की जांच सीबीआई को सौंपने के राजनीतिक मायने निकाले जा रहे हैं । अगले वर्ष होने वाले राज्य विधानसभा चुनाव में कांग्रेस और गांधी परिवार को घेरने के लिए बीजेपी के पास इससे बड़ा मुद्दा हो नहीं सकता है । इस मुद्दे को लेकर बीजेपी के आरोपों का जवाब देना कांग्रेस के लिए मुश्किल हो सकता है।
क्या है पूरा मामला
ये मामला बीकानेर की कोलायत तहसील में फर्जी तरीके से 275 बीघा जमीन आवंटित कराने से जुड़ा है। इस जमीन को बाद में वाड्रा की कंपनी स्काईलाइट ने खरीदा था. छापेमारी में ईडी दिल्ली, चंडीगढ़, अहमदाबाद और जयपुर ऑफिस की टीमों ने हिस्सा लिया। 40 अफसरों की सात टीमों ने एक साथ छापेमारी की। टीमों ने कोलायत के गजनेर, गोयलरी गांवों सहित कुल 7 जगहों पर तत्कालीन पटवारी, गिरदावर और भूमाफिया से जुड़े लोगों के यहां छापेमारी की। इस मामले से जुड़े तत्कालीन हलका पटवारी सहित कई लोगों से पूछताछ की गई। बता दें कि विधानसभा और लोकसभा चुनाव के दौरान भी रॉबर्ट वाड्रा के जमीन घोटाले का मुद्दा खूब उठा था। राज्य सरकार आवंटियों के नामांतरण रद्द कर जमीन को अपने कब्जा ले चुकी है।