विश्व हिंदू परिषद (विहिप) ने मंदिरों और धार्मिक संस्थानों को सरकारी नियंत्रण से मुक्त कराने के लिए केन्द्र सरकार से इस संबंध में कानून बनाने की अपील की है। इसके अलावा विहिप ने धर्मांतरण विरोधी कानून की भी मांग की है।
विहिप के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने रविवार को यहां संवाददाताओं से कहा कि संगठन ने सभी राज्य सरकारों से हिंदू मंदिरों को हिंदू समाज को सौंपने का आह्वान किया है और केंद्र सरकार से इस संबंध में एक कानून बनाने का अनुरोध किया है।
धर्मांतरण होने का दावा करते हुए जताई चिंता
कुमार ने आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में बड़े पैमाने पर धर्मांतरण होने का दावा करते हुए इसे लेकर चिंता भी व्यक्त की। उन्होंने कहा, ‘‘ये धर्मांतरण लालच, धोखे और भय से प्रेरित हैं। विहिप ऐसे धर्मांतरणों का पूरी ताकत से विरोध करेगी और धर्मांतरित भाइयों और बहनों को हिंदू धर्म में वापस लाने के लिए अपने अभियान को तेज करेगी।’’
इस दिशा में अपने प्रयास शुरू किए हैं
कुमार ने कहा, ‘‘उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों की तरह तेलंगाना सरकार को भी धर्मांतरण विरोधी कानून पारित करना चाहिए। हमने केन्द्र सरकार से भी धर्म परिवर्तन के खिलाफ कानून बनाने के लिए कहा है।’’ विहिप के कार्यकारी अध्यक्ष ने कहा, ‘‘हमने केन्द्र सरकार से धर्मांतरण के खिलाफ कानून बनाने के लिए कहा है और इस दिशा में अपने प्रयास शुरू किए हैं। हम अपने प्रयासों को तेज करेंगे। सरकार को इस संबंध में एक ज्ञापन सौंपा गया है और हमें उम्मीद है कि वह इस पर विचार करेगी।’’
विहिप नेता ने तेलंगाना सरकार से गायों की रक्षा के लिए कानून लाने की मांग की। उनके मुताबिक तेलंगाना राज्य में गोहत्या की घटनाएं बढ़ रही हैं।