उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को कोरोना वायरस की रोकथाम पर अधिकारियों के साथ लोक भवन में बैठक की। इस दौरान मुख्यमंत्री योगी ने अधिकारियों को हर व्यक्ति (जिसके पास राशन कार्ड है या नहीं) को खाद्य सामग्री उपलब्ध कराने के निर्देश दिए है।
बैठक में उन्होंने कहा, ‘इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि किसी व्यक्ति के पास राशन कार्ड है या नहीं, अगर वह व्यक्ति जरूरतमंद है तो उसे आवश्यक खाद्य पदार्थ उपलब्ध कराए जाएंगे। भले ही वह राज्य का नगरिक को या प्रवासी उसे भोजन और राशन उपलब्ध कराया जाएगा ‘
उन्होंने सामुदायिक रसोई, घर पर सामान पहुंचाने की सुविधा तथा खाद्यान्न वितरण की मौजूदा स्थिति की जानकारी प्राप्त की। आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति श्रृंखला तथा इन वस्तुओं को घरों तक पहुंचाने की व्यवस्था पर संतोष व्यक्त करते हुए उन्होंने इसे और बेहतर बनाने के निर्देश दिए।
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उन्होंने कहा कि रमजान के महीने में आवश्यक सामग्री की सुचारु उपलब्धता के लिए सभी आवश्यक प्रबन्ध सुनिश्चित किए जाएं। मुख्यमंत्री ने कहा कि बंद की अवधि में प्रदेश सरकार व्यापक स्तर पर सामुदायिक केंद्र और आश्रय गृह सफलतापूर्वक संचालित कर रही है। सामुदायिक रसोई और आश्रय गृह संचालन की यह उत्तम व्यवस्था आने वाले समय में भी इसी प्रकार जारी रखी जाए।
उन्होंने कहा कि कालाबाजारी, जमाखोरी एवं मुनाफाखोरी के विरुद्ध कार्रवाई निरन्तर जारी रखी जाए। मुख्यमंत्री योगी ने निर्देश दिए कि आश्रय गृह से घर पर पृथक-वास के लिए जाने वाले लोगों के स्वास्थ्य की अनिवार्य रूप से जांच की जाए। साथ ही, इन व्यक्तियों को खाद्यान्न पैकेट भी उपलब्ध कराया जाए। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में एन-95 मास्क और पीपीई सहित संक्रमण से सुरक्षा के सभी उपकरण पर्याप्त मात्रा में अनिवार्य रूप से उपलब्ध रहें।
यह सुनिश्चित किया जाए कि ये उपकरण निर्धारित मानक एवं गुणवत्ता के अनुरूप हों। उत्तर प्रदेश कोविड केयर फंड और एनएचएम में उपलब्ध धनराशि से पीपीई खरीदे जाएं। उन्होंने जांच प्रयोगशालाओं की संख्या में वृद्धि के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के विभिन्न जनपदों के शिक्षण संस्थानों में विदेशी तथा अन्य राज्यों के छात्र-छात्राएं अध्ययनरत हैं।
इन विद्यार्थियों की समस्याओं के समाधान के लिए प्रत्येक सम्बन्धित जनपद हेतु एक नोडल अधिकारी नामित किया जाए। उन्होंने अन्य राज्यों में रह रहे उत्तर प्रदेश वासियों की समस्याओं के समाधान के लिए प्रदेश सरकार द्वारा नामित नोडल अधिकारियों को इन लोगों की समस्याओं को सुनकर उन्हें दूर किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि निराश्रित व्यक्ति की मृत्यु होने पर शासन द्वारा प्रदान राशि से दिवंगत का अन्तिम संस्कार कराया जाए।