चर्चित गालीबाज श्रीकांत त्यागी पर हाईकोर्ट ने रहम की बरसात करते हुए जमानत दे दी है। जिससे श्रीकांत त्यागी का सलाखों से बाहर आने का रास्ता साफ हो गया हैं। महिला को अमर्यादित भाषा का प्रयोग करते हुए भद्दी टिप्पणी कर पति को देखनी की धमकी दी थी। जिसके बाद घटना की वीडीयो वायरल होने पर योगी सरकार ने श्रीकांत त्यागी पर गैंगस्टर की धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उसके अवैध अतिक्रमण को बुल्डोजर से ध्वस्त कर दिया था।
9 अगस्त को हुई थी घटना
नोएडा के सेक्टर-93बी में स्थित ग्रैंड ओमेक्स हाउसिंग सोसाइटी में श्रीकांत त्यागी ने बालकनी को कवर किया कर लिया था और बालकनी के आसपास काफी संख्या में पेड़-पौधे लगाए हुए थे। श्रीकांत त्यागी खुद को भाजपा नेता बताता था और सोसायटी के लोगों पर धौंस जमाता था। 5 अगस्त को सोसायटी में एक महिला के साथ उसकी बहस हो गई थी।
पीड़ीत महिला ने सोसाइटी में अवैध कब्जा करने का आरोप
महिला ने आरोप लगाया था कि उसने अवैध कब्जा कर रखा है। इसपर बौखलाए श्रीकांत त्यागी ने महिला को गाली दी थी और उन्हें धक्का भी दिया था। इसका वीडियो वायरल होने के बाद श्रीकांत त्यागी की मुश्किलें बढ़ गई थीं। भारतीय जनता पार्टी ने भी साफ किया था कि श्रीकांत त्यागी से पार्टी का कोई लेना-देना नहीं है।
त्यागी समाज ने की थी श्रीकांत के पक्ष में पंचायत
श्रीकांत पर सरकार का एक्शन होते ही त्यागी समाज के लोगों ने आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए त्यागी पर हुई कार्रवाई को नाजायज ठहराने की कोशिश की थी। श्रीकांत के पक्ष में भाकियू नेताओं सहित कई लोगों ने नॉएडा में महापंचायत की थी, जिसमें हजारों ने भाग लिया था। पंचायत सरकार की गैंगस्टर की धारा लगाने पर रोष प्रकट किया था।
भाजपा को देना पड़ा था श्रीकांत त्यागी के बारे में स्पष्टीकरण
सोशल मीडीया पर श्रीकांत की त्यागी की भाजपा के कार्यकर्ता के टैग लगाकर वायरल की जा रही थी , जिसके प्रदेश सरकार व पार्टी हरकत में पड़ गयी थी। श्रीकांत त्यागी प्रकरण मामले में प्रदेश भाजपा को स्पष्टीकरण देना पड़ा था। भाजपा ने अपने स्पष्टीकरण में स्पष्ट किया था त्यागी भाजपा का सदस्य नहींं हैं, लेकिन वह पूर्व में सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य के साथ भाजपा में आया था, लेकिन पाला बदल के साथ ही वह भी सपा में चला गया था।