पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सुप्रीमो ममता बनर्जी भी आगामी उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में एंट्री कर रही हैं। वह मंगलवार को समाजवादी पार्टी (सपा) प्रमुख अखिलेश यादव के साथ प्रेस वार्ता करेंगी और लोगों से सपा को वोट देने की अपील करेंगी। बंगाल की सीएम सोमवार शाम राजधानी लखनऊ पहुंचेंगी। बता दें कि ममता बनर्जी ने पिछले साल राज्य के विधानसभा चुनावों में भाजपा को हराया था, और तब से खुद को भगवा पार्टी के खिलाफ एकजुट विपक्ष के चेहरे के रूप में पेश करने का प्रयास कर रही हैं। हालांकि, विभिन्न घटनाओं पर बदले हुए रुख के साथ, पार्टी कांग्रेस के साथ अपने रुख को लेकर स्पष्ट नहीं है।
अखिलेश के समर्थन में प्रचार करेंगी ममता बनर्जी
अब, ममता का यूपी चुनावों के लिए अखिलेश को समर्थन देने का यह कदम 2024 की चुनौती से पहले एक मजबूत ‘कांग्रेस-विरोधी, और ‘भाजपा’ के खिलाफ चेहरे की ओर उनका एक और प्रयास है। भले ही उत्तर प्रदेश के चुनावों में टीएमसी का कोई प्रभाव नहीं है, लेकिन लखनऊ में रहने और अखिलेश के साथ एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करने का उनका फैसला उनकी राष्ट्रीय महत्वाकांक्षाओं का संकेत है, क्योंकि यूपी के राजनीतिक रूप से महत्वपूर्ण राज्य में दोनों के बीच संबंध है। जो की एक बड़ी राष्ट्रीय तस्वीर का प्रतिनिधित्व करता है।
BJP विरोधी राजनीति का चेहरा हैं ममता
टीएमसी ने यूपी के किसी भी निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव नहीं लड़ने और सपा को ‘बिना शर्त समर्थन’ देने का बनर्जी का फैसला यह संकेत देता है कि वह जून 2012 में अखिलेश के पिता मुलायम सिंह यादव के हाथों इस मुद्दे पर हुई राजनीतिक शर्मिंदगी से आगे बढ़ सकती हैं। सपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष किरणमय नंदा ने बताया था, “ममता बनर्जी सिर्फ एक राज्य की मुख्यमंत्री या किसी पार्टी की अध्यक्ष नहीं हैं। वह राष्ट्रीय स्तर पर भाजपा विरोधी राजनीति का चेहरा हैं। इसलिए हम उनका समर्थन चाहते थे और वह हाथ बढ़ाने के लिए तैयार हो गई।”
2017 में भी किया था SP के लिए प्रचार
बता दें कि ममता बनर्जी पहली बार विधानसभा चुनाव में सपा का समर्थन करने नहीं उतरी हैं, उन्होंने साल 2017 में भी लखनऊ पहुंच कर पार्टी के लिए प्रचार किया था। समजावादी पार्टी भी कई साल से टीएमसी के लिए प्रचार करती रही है। उत्तर प्रदेश में 7 चरणों में चुनाव होंगे। यूपी में इन चरणों के तहत 10 फरवरी, 14 फरवरी, 20 फरवरी, 23 फरवरी, 27 फरवरी, 3 मार्च और 7 मार्च को मतदान होगा। 10 मार्च को चुनाव के नतीजे आएंगे। साथ ही पहले चरण की शुरूआत पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जिलों से होगी और धीरे-धीरे कारवां बढ़ते हुए पूर्वी उत्तर प्रदेश पर जाकर समाप्त होगा।