उत्तर प्रदेश सरकार में वन एवं पर्यावरण मंत्री दारा सिंह चौहान ने बुधवार को मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। इससे पहले श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने भी मंगलवार को योगी सरकार से इस्तीफा दिया था। प्राप्त जानकारी के मुताबिक चौहान ने राज्यपाल आनंदी बेन पटेल को भेजे इस्तीफे में योगी सरकार पर दलितों, पिछड़ और बेरोजगारों की उपेक्षा करने का आरोप लगाया है।
चुनाव से पहले सियासत में कई बड़े बदलाव
पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान बसपा से भाजपा में आये चौहान ने अभी अपनी भविष्य की रणनीति के बारे में कोई प्रतिक्रिया व्यक्त नहीं की। समझा जाता है कि वह समाजवादी पार्टी का दामन थाम सकते हैं।
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले सियासत में कई बड़े बदलाव होते नजर आ रहे हैं, स्वामी प्रसाद मौर्य के इस्तीफे के बाद से ही भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में इस्तीफों की झड़ी लग गई है। इस बार उत्तर प्रदेश के औरैया जिले की बिधूना सीट से भाजपा विधायक विनय शाक्य ने पार्टी को झटका दिया है। बता दें कि बीते दिन विनय शाक्य के परिवार ने उनके लापता होने की बात कही थी, जिसके बाद विधायक का बयान सामने आया है।
विनय शाक्य ने स्वामी प्रसाद के साथ सपा में शामिल होने का बनाया मन विनय शाक्य ने लापता या अपहरण की बात को गलत बताया और कहा कि वह स्वामी प्रसाद के साथ समाजवादी पार्टी (सपा) में जाने का मन बना चुके हैं। वहीं बता दें कि अब तक स्वामी प्रसाद ने भी पूरी तरह से साफ नहीं किया है कि वह सपा में जा रहे हैं। वहीं विनय के लापता होने की खबरों पर भी विराम लग गया है, विधायक 2018 में पड़े ब्रेन स्ट्रोक के वजह से ठीक से बोल पाने की स्थिति में नहीं है लेकिन इशारों ही इशारों में उन्होने खुद के ठीक होने का संकेत दिया।